Treatment of UTI : इन घरेलू उपायों को अपनाकर UTI की समस्या से पाएं निजात
UTI की समस्या अधिकतर महिलाओं में ही देखी जाती है. अगर इसे नजरअंदाज किया जाए तो यह किडनी तक फ़ैल सकती है.
Treatment of UTI : UTI का पूरा नाम है यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन (Urinary tract infection)। यह समस्या (Problem) अधिकतर महिलाओं में ही देखी जाती है यह बहुत गंभीर समस्या नहीं होती है। जब महिलाओं का यूरिनरी सिस्टम यानी मूत्र प्रणाली संक्रमित (Infected) हो जाती है तो अधिकतर यह इंफेक्शन (infections) देखने को मिलता है। इस इंफेक्शन (infections) का असर हमारी बॉडी के दूसरे अंगों जैसे कि ब्लैडर, किडनी (kidney) और इन्हें जो नलिका जोड़ती है उन पर भी पड़ता है। अगर यूटीआई पर ध्यान ना दिया जाए तो इसका इंफेक्शन (infections) किडनी में फैल सकता है और स्थिति गंभीर हो सकती है। तो चलिए आज हम आपको बताते हैं कि इस समस्या (Problem) की रोकथाम के घरेलू उपाय क्या है:
शरीर में ना होने दे पानी की कमी (Do not let the lack of water in the body)
खुद को हाइड्रेटेड रखना बहुत जरूरी होता है अगर आपको यूटीआई की समस्या (Problem) है तो इसको ठीक करने का यह सबसे आसान तरीका है दिन भर में खूब सारा पानी (water) पिए। क्योंकि पानी (water) के जरिए ही शरीर के अपशिष्ट पदार्थ मूत्र के माध्यम से बाहर निकलते हैं। अगर आप पर्याप्त मात्रा में दिन में पानी (water) पीती हैं तो यूरिन पतला होता है और जिसके जरिए आसानी से शरीर का संक्रमण (infections) बाहर निकल सकता है, और बैक्टीरिया (Bacteria) शरीर के अन्य हिस्सों में संक्रमण (infections) नहीं फैला पाते इसलिए 1 दिन में कम से कम 8 गिलास तो पानी (water) पीना ही चाहिए।
विटामिन सी का सेवन पर्याप्त मात्रा में करे ( Consume amount of Vitamin C)
विटामिन सी (Vitamin C) एक एंटीऑक्सीडेंट के रूप में काम करता है, जो हमारे शरीर के इम्यून सिस्टम को सुचारू रूप से चलाता है. शरीर के अंदर विटामिन सी (Vitamin C) का काम नाइट्रोजन ऑक्साइड बनाना होता है जिसे हानिकारक बैक्टीरिया मर जाते हैं। विटामिन सी (Vitamin C) यूरीन के पीएच लेवल को कम करता है। आप चाहे तो इसे फलों से ले सकते हैं या फिर इसके सप्लीमेंट्स भी उपलब्ध है।
करौंदे के जूस का सेवन करें (Drink gooseberry juice)
आयुर्वेद में ऐसा माना गया है कि यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन (Urinary tract infection) के दौरान अगर करौंदे का जूस (gooseberry juice) पिया जाए तो यह बहुत फायदेमंद होता है। करौंदे का जूस नॉर्मल इन्फेक्शन (infections) को दूर करता है और घाव जल्दी ठीक करता है। विशेषज्ञों द्वारा की गई स्टडीज में यह पाया गया कि करौंदे के जूस में कुछ कंपाउंड होते हैं जो ई-कोलाई सेल्स को यूरीन के रास्ते से जुड़ने नहीं देते।
सेक्सुअल हाइजीन का रखे ध्यान (Take care of sexual hygiene)
स्वास्थ विशेषज्ञों का मानना है कि अगर सेक्सुअल इंटरकोर्स के दौरान साफ सफाई का ध्यान ना रखा जाए तो भी बैक्टीरिया (Bacteria) पनप सकते हैं और यूरिनरी ट्रैक्ट में इन्फेक्शन (UTI infections) पैदा कर सकते हैं इसलिए सेक्सुअल हाइजीन (sexual hygiene) का ध्यान रखना बहुत जरूरी है।
डेयरी प्रोडक्ट का सेवन करें (consume dairy products)
डेयरी प्रोडक्ट (dairy products) में कुछ लाभदायक बैक्टीरिया पाए जाते हैं जिन्हें हम हल्दी बैक्टीरिया (Bacteria) या प्रोबायोटिक्स के नाम से भी जानते हैं। यह हमारे यूरिनरी ट्रैक्ट (Urinary tract) को हेल्थी बनाए रखते हैं। इसीलिए रोज दही-मट्ठा आदि को अपने दैनिक आहार में शामिल करना चाहिए। बाजार में प्रोबायोटिक्स के सप्लीमेंट भी आते हैं आप चाहे तो उनका भी सेवन कर सकते हैं।
तो अगर आप अपने स्वास्थ्य का ख्याल और कुछ सावधानियां बरतेंगे तो आप यूटीआई के इंफेक्शन (UTI infections) से बचे रहेंगे।