COVID-19 को लेकर WHO की चेतावनी; सर्दियों में हो सकती है Death Rate में बढ़ोत्तरी
अब WHO (World Health Organization) द्वारा एक और चेतावनी जारी की गई है. WHO के अनुसार COVID-19 के चलते सर्दियों में Death Rate में बढ़ोत्तरी हो;
अब WHO (World Health Organization) द्वारा एक और चेतावनी जारी की गई है. WHO के अनुसार COVID-19 के चलते सर्दियों में Death Rate में बढ़ोत्तरी हो सकती है. यूरोप में WHO के रीजनल डायरेक्टर का कहना है कि सर्दियां आते ही यूरोप समेत दुनियाभर के देशों में कोरोना वायरस के मामलों में फिर तेजी से बढ़ोतरी हो सकती है. एक्सपर्ट ने सर्दियों से पहले लोगों को तैयार रहने की सलाह भी दी है.
WHO के रीजनल डायरेक्टर हंस क्लग ने कहा, 'सर्दियों के मौसम में युवा आबादी बुजुर्गों के ज्यादा नजदीक होगी. ऐसे में COVID-19 के संक्रमण फैलने का खतरा काफी ज्यादा रहेगा. इसे लेकर हम कोई भविष्यवाणी नहीं करना चाहते. लेकिन निश्चित तौर पर यह एक समय ऐसा होगा, जब अस्पतालों में मरीजों की संख्या काफी बढ़ जाएगी और मृत्युदर (Death Rate) में भी इजाफा होगा.'
Health Authorities फरवरी की तुलना में ज्यादा तैयार और मजबूत
क्लज ने कहा कि WHO के यूरोपीय क्षेत्र के 55 में से 32 राज्यों और क्षेत्रों में 14 दिनों की घटना दर में 10 फीसद से अधिक वृद्धि देखी गई है. हालांकि क्लज ने यह भी कहा कि Health Authorities फरवरी की तुलना में ज्यादा तैयार और मजबूत स्थिति में है. ये वो समय था जब कोरोना के मामलों में तेज उछाल और मौतों के आंकड़े काफी बढ़ रहे थे.
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हाल ही में यूरोपियन ऑथोरिटीज़ ने बच्चों को वापस क्लासरूम्स में भेजने पर विचार किया है. साथ ही पैरेंट्स के वापस ऑफिस जाने पर भी सोचा जा रहा है. फ्रांस, ब्रिटेन और स्पेन जैसे देशों में बढ़ते मामलों के बीच ऑथोरिटी मास्क को लेकर सख्त नियम, एक्स्ट्रा टीचर्स और नए तरह के डेस्क के निर्माण पर ध्यान दे रही है.
हालांकि अमेरिका में 'बैक-टू-स्कूल' का मामला राजनीति और अराजकता का शिकार हो गया है. राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के स्कूल खोलने के फैसले और फास्ट चेंजिंग रूल्स पर उन्हें विवाद का सामना करना पड़ा है. जबकि अमेरिका की तुलना में यूरोपियन देशों की सरकारों की कम आलोचना हुई है.
बच्चों के क्लासरूम्स तक पहुंचा Corona Virus
बर्लिन से लेकर सियोल तक पिछले कुछ दिनों में कोरोना वायरस बच्चों के क्लासरूम्स तक पहुंचा है. टीचर्स और पैरेंट्स दोनों ही कह रहे हैं कि स्कूल जाना अभी बच्चों के लिए खतरे से खाली नहीं है. लेकिन राजनीतिक पार्टियों के नेताओं की तरफ से उन्हें लगातार संदेश भेजा जा रहा है कि इस वक्त बच्चे क्लासरूम्स में ही ज्यादा सुरक्षित होंगे.
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फ्रांस के प्रधानमंत्री ने बीते बुधवार को ही कहा था कि वह बच्चों को वापस स्कूल और लोगों को ऑफिस भेजने के लिए कुछ भी करेंगे. ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बॉरिस जॉनसन का कहना है कि बच्चों को वापस स्कूल भेजना उनकी सरकार का नैतिक कर्तव्य है. उन्होंने उन पैरेंट्स की भी आलोचना की जो बच्चों को घर में रखने का पक्ष ले रहे हैं.
बता दें कि शुरुआत से ही हेल्थ एक्सपर्ट इस साल के अंत या 2021 की शुरुआत तक कोविड-19 (Covid-19) की वैक्सीन आने का दावा कर रहे हैं. वैक्सीन (corona virus vaccine) को लेकर यह दावा ठीक ऐसे वक्त में किया जा रहा है जब कोरोना की दूसरी लहर आने का खतरा भी सबसे ज्यादा होगा.
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