Cervical Pain Ayurvedic Remedies: सर्वाइकल समस्या से निजात दिलाने के लिए चुनिंदा आयुर्वेदिक घरेलू उपाय
कंप्यूटर या एक ही पोज में बैठकर घंटों काम करते रहने से शरीर में अकड़न हो जाती है जो की सर्वाइकल(Cirvical) का कारण बन जाता है।
Cervical Pain Ayurvedic Remedies: सर्वाइकल का दर्द जब उठता है तो किसी काम में मन नहीं लगता है। सर्वाइकल की समस्या अब आम बात हो गई है। आज की आधुनिक जीवन शैली में लगातार कंप्यूटर या एक ही पोज में बैठकर घंटों काम करते रहते हैं, ऐसे में शरीर में अकड़न हो जाती तो सर्वाइकल(Cirvical) का कारण बन जाता है। लोग बैठे बैठे काम करते हैं इस कारण से शरीर में क्या समस्या आ जाती है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि सर्वाइकल को स्पोंडिलोसिस भी कहा जाता है। सर्वाइकल की बीमारी खतरनाक मानी जाती है और इसका इलाज करा देना ही समझदारी है। आप चाहे तो आयुर्वेदिक तरीकों को अपनाकर ही इससे छुटकारा पा सकते हैं। तो आइए हम आपको बताते हैं कि सर्वाइकल के लक्षण होने पर आपको किस तरह से आयुर्वेदिक तरीके से इसका इलाज करना है। आप चाहे तो इसके लिए किसी आयुर्वेदिक डॉक्टर से भी सलाह ले सकते हैं।
सर्वाइकल के लक्षण (Cervical Ke Lakshan)
गर्दन में दर्द, चक्कर आना, सिर में दर्द, हाथ पैर में अक्सर झुनझुनी जैसा महसूस होना, गर्दन और कंधों में अकड़न हो जाना, सिर के पीछे भाग और कंधों में दर्द होना, सर्वाइकल के लक्षण है।
सर्वाइकल में कारगर घरेलू आयुर्वेदिक उपचार (Cirvical Ke Ayurvedic Upchar)
● लहसुन का अश्वगंधा के साथ गुनगुने पानी के साथ खाली पेट इस्तेमाल करने से सर्वाइकल में फायदा होता है। दर्द कम करने में मददगार साबित होता है।
● सर्वाइकल में अश्वगंधा का इस्तेमाल आप कर सकते हैं। अश्वगंधा का पाउडर भी बाजार में मिलता है। इसे आप पानी के साथ सेवन कर सकते हैं।
● तिल के तेल को हल्का गुनगुना करके मालिश करना चाहिए इससे ज्यादा जल्दी आराम मिलता है।
● रोजाना योगा करने से भी सर्वाइकल की समस्या से छुटकारा मिलता है।
सर्वाइकल से निजात के लिए क्या खाएं (Cirvical Se Nijat Ke liye Kya Khyen)
● सर्वाइकल में दर्द से छुटकारा पाने और सर्वाइकल को जड़ से मिटाने के लिए लहसुन, हल्दी, तिल के तेल का सेवन करना चाहिए।
● खाने में लहसुन का इस्तेमाल करना चाहिए।
● हल्दी एक अच्छा पेन किलर होता है इसका इस्तेमाल दूध के साथ और शहद मिलाकर किया जा सकता है। दिन में कम से कम 2 बार इस तरह के दूध का सेवन करना चाहिए।