रीवा नगर निगम पार्षदों में फूट का खतरा: भाजपा के 25 पार्षदों ने शपथ लिया, ओरछा रवाना किए गए

रीवा कलेक्ट्रेट सभागार में गुरूवार को 26 नगर निगम वार्ड पार्षदों ने पद एवं गोपनीयता की शपथ ली है, इसके बाद भाजपा के 25 पार्षदों को ओरछा रवाना कर दिया गया है.

Update: 2022-07-28 10:57 GMT

Nagar Nigam Ward Parshad Rewa

रीवा। नगर पालिक निगम कें चुने गए महापौर सहित 45 पार्षदों में से महज 26 पार्षदों ने गुरूवार को कलेक्ट्रेट सभागार में पद एवं गोपनीयता की शपथ ले ली है। कलेक्टर मनोज पुष्प ने सभी 26 पार्षदों के शपथ दिलाई है। इसके बाद भाजपा के 25 पार्षदों को ओरछा भ्रमण के लिए रवाना कर दिया गया है

रीवा नगर निगम में 45 वार्ड हैं, नगरीय निकाय चुनाव के दौरान भाजपा के 18 एवं कांग्रेस के 16 पार्षद निर्वाचित होकर परिषद् पहुंचे। इसके बाद जोड़ तोड़ की राजनीति करके भाजपा ने 7 निर्दलीय पार्षदों को अपने साथ लेकर परिषद् में अध्यक्ष बनाने का दावा ठोंक दिया, जबकि कांग्रेस महपौरी जीतने के जश्न समारोह तक ही सीमित रह गई है। 

शपथ लेने वाले पार्षदों में 25 पार्षद भारतीय जनता पार्टी के है जबकि एक पार्षद निर्दलीय निर्वाचित है। कलेक्ट्रेट सभागार में शपथ ग्रहण समारोह के दौरान पूर्व मंत्री एवं रीवा विधायक राजेन्द्र शुक्ला, भाजपा जिलाध्यक्ष अजय सिंह सहित अन्य लोग मौजूद रहें।

ओरक्षा ले जाए गए भाजपा पार्षद

शपथ लेने के साथ ही भाजपा के पार्षदों को ओरक्षा ले जाया गया है। पार्षद रीवा शहर के एक होटल से दो लग्जरी बसों से रवाना हुए है। भाजपा के वरिष्ठ पार्षद व्यकटेंश पांडे का कहना है कि यह महज पार्षद की भ्रमण यात्रा है, जबकि कांग्रेसी महापौर अजय मिश्रा का कहना है कि यह भाजपा का चरित्र है। उन्हे यह भय सता रहा है कि उनके पार्षद कांग्रेस में शामिल हो जाएगें। नवनिर्वाचित महापौर ने कहा कि यह सही की पार्षद उनके सम्पर्क में है और तन भले ही भाजपा के लोगो के साथ हो लेकिन मन से वे कांग्रेस के साथ है तथा नगर परिषद बनाने में वे शामिल होगे। सभी पार्षदों को चोरहटा स्थित चंद्रलोक होटल से टूरिस्ट बस के माध्यम से ओरछा की तरफ रवाना किया गया है

वहीं व्यंकटेश पांडेय का कहना है की जीत के बाद हम सब पार्षद अपने अपने परिवार के साथ ओरछा में प्रभु राम के दर्शन के लिए जा रहें हैं. हमें किसी का भय नहीं है.

महापौर से पहले पार्षदों को शपथ...

मध्यप्रदेश के रीवा में शायद यह पहला अवसर होगा जब महापौर ने शपथ नही ली और पार्षदों को शपथ दिला दी गई। महापौर से पहले ही पार्षदों को शपथ दिलाए जाना चर्चा का विषय हो गया है।

पहला शपथ ग्रहण महापौर का...

आम जन में अब इस शपथ को लेकर चर्चा शुरू हो गई है। कि परम्परा के तहत पहले महापौर को शपथ दिलाई जानी चाहिए, उसके साथ ही पार्षदों की शपथ होती रही है। लेकिन इस परम्परा के प्रतिकूल यह आयोजन रीवा में आयोजित किया गया। जिसकी अब चर्चा होने लगी है।

परम्परा के विपरीत

नवनिर्वाचित महापौर अजय मिश्रा बाबा का इस सबंध में कहना है कि शपथ तो कोई भी कभी भी ले सकता है, लेकिन अभी तक ऐसी परम्परा नही रही है। यह पहली बार है जब इस तरह शपथ हो रही है। पूर्व में भी जो पार्षद निर्वाचित हुए है वे चाहे किसी दल के रहे हो मिलकर शपथ लेते रहे है।

नगर विकास पर सवाल

जिस तरह से पार्षदों का शपथ ग्रहण आयोजित हो रहा है उससे पार्षदों के टकराव की झलक साफ नजर आ रही है। शपथ को लेकर ही व्यवस्था बदलाव की झलक रीवा के विकास पर सवाल उठा रही है। बहरहाल आने वाला वक्त ही बताएगा कि आखिर कार रीवा नगर-निगम की एमआईसी और परिषद किस दिशा में काम करती है।

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