माता मुकड़ी के दर्शन से होता प्रेमी-प्रेमिका का मिलन, युवा के अलावा कोई नहीं कर सकता प्रवेश...
Chhattisgarh mukadi mata mandir : माता मुकड़ी के दर्शन से होता प्रेमी-प्रेमिका का मिलन, युवा के अलावा कोई नहीं कर सकता प्रवेश...
माता मुकड़ी के दर्शन से होता प्रेमी-प्रेमिका का मिलन, युवा के अलावा कोई नहीं कर सकता प्रवेश…
Chhattisgarh : प्रेम भी एक ऐसा रोग है जिसका कोई इलाज नहीं होता है। कई बार प्रेमी प्रेमिका अपना प्यार पाने हर देवी देवता को पूजते है । लेकिन आज हम आज एक ऐसी माता मुकड़ी देवी जी (Mukadi mata mandir ) के बारे में बताने जा रहे हैं जिनकी पूजा करने से प्रेमी का मिलन हो जता है। वहां केवल प्रेमी ही प्रवेश कर सकता है वह भी युवा। माता मुकड़ी के मंदिर में बच्चों और वृद्धों का प्रवेश वर्जित है।
जानकारी के अनुसार मुकडी माता मंदिर छत्तीसगढ ( Chhattisgarh mukadi mata mandir ) के आदिवासी बहुल दंतेवाड़ा जिला मुख्यालय से 40 किलोमीटर दूर छिंदनार गांव में एक टेकरी में स्थित है। यहां के प्रेमी प्रेमिका अपने प्यार को पाने के लिए इसी एक उजाड़ से मंदिर माता मुकड़ी मावली का रुख करते हैं। कहा जाता है जो भी यहां आता है उसे उसका प्यार मिल जाता है।
प्रेमी के लिए करनी होती है खास पूजा
माता मुकडी के मंदिर ( Chhattisgarh mukadi mata mandir ) में प्रेमिका को पाने की चाहत से जाने वाले प्रेमी केा कुछ खास पूजा करनी होती है। इसके लिए बताया जाता है कि प्रेमी अपने प्रेमी फोटो साथ लेजाता है। उस फोटो को मां की तरहफ कर प्रेमिका का चेहरा दिखाते हैं और उस प्रेमिका का कपड़े का टुकड दिखाना होता है। बाद में उसे एक पत्थर के नीचे दबा दिया जाता है। ऐसा करने से उसे उसका प्यार मिल जाता है।
कहा जाता है कि इस पप्रेमी के रोग में जो भी फंसता है वह उसी का होकर रह जाता है। वही किसी को उसके प्यार की मंजिल मिलती तेा वही कई ऐसे भी होते हैं जिन्हे मंजिल नही मिलती। लेकिन हर पे्रमी पे्रमिका अपना प्यार पाने के लिए एक दूसरे एडी चोटी का जोर लगाते हैं। प्रेमी-प्रेमिका अपना प्यार पाने के लिए पृथवी के ही देवी देवता की पूजा कर मन्नत मागतें है। इसके बाद भी कोई सफल होता है तो कोई असफल हो जाता है।