रीवा के बैंक घोटाले का न्यायालय में आरोप तय, 16 करोड़ 14 लाख रूपये के गबन का है मामला
सेवा सहकारी बैक घोटाले का रीवा के विशेष न्यायालय में आरोप तय हो गया है।
Rewa / रीवा। करोडों का बैंक घोटाला मामला एक बार फिर चर्चा में आ गया है। जहां सरकारी राशी गबन किये जाने का आरोप रीवा न्यायायल में तय हो गया है।
यह जानकारी मीडिया को देते हुये लोक अभियोजन सचिन द्विवेदी ने बताया कि जिला सहकारी बैंक डभौरा शाखा में पदस्थ शाखा प्रबधंक तथा अन्य अधिकारियों के द्वारा मिल कर 16 करोड़ 14 लाख रूपये का गबन किया गया था।
लिपिक बना था शाखा प्रबंधक
जिला सहकारी बैंक में लिपिक के पद काम करने वाला रामकृष्ण मिश्रा डभौरा में संचालित सहकारी बैंक शाखा का प्रबंधक बना था और उसने अपने अधिकारियों को गिरफ्त में लेकर जमकर सरकारी राशी की हेराफेरी करते हुये उससे धन सम्पदा बनाई थी।
सरकारी राशी की ऐसे हुई हेराफेरी
दरअसल कम्प्यूटरीकृत हुये बैक शाखा में शाखा प्रबंधक रामकृष्ण मिश्रा ने अपने परिचितों और रिश्तेदारों का खाता बैंक में खुलवाया। उन्होने अपनी आईडी पासवर्ड से अपने रिश्तेदारों और परिचितों के खाते में सरकारी राशी को ट्रांर्सफर किया था। इसमें बैक अधिकारियों का नाम भी सामने आ चुका है।
16 लोगो पर दर्ज है मामला
करोड़ों के इस घोटाले में जांच के दौरान पुलिस ने 16 लोगो के खिलाफ अपराध दर्ज किया था। जिसमें शाखा प्रबंधक रामकृष्ण मिश्र सहित बैंक अधिकारी विजय सिंह, अमरनाथ पांडे, आरके पचौरी के अलावा 12 प्राइवेट लोग है, जिनके खाते में पैसे भेजे गये थे।
ऐसे उड़ाई रकम
बताया जा रहा है कि बैंक की सरकारी राशी का गबन करके बैंक के लोगो ने उक्त राशी को शराब ठेका, पेट्रोल पम्प एवं जमीन की खरीदी सहित अन्य क्षेत्रों में खर्च किये थे।