लाखो नागरिको के लिए बड़ी खबर! MP के तहसीलदार तीन दिन के सामूहिक अवकाश पर, जनता से जुड़े कार्यों पर पड़ेगा असर
MP Tehsildar Strike News: मध्यप्रदेश के तहसीलदार और नायब तहसीलदार रविवार रात में ही सरकारी वॉट्सएग्रुप से लेफ्ट हो गए और गाड़ियां भी लौटा दीं। अब वे सोमवार से तीन दिनों के लिए सामूहिक अवकाश पर चले गए हैं।
मध्यप्रदेश के तहसीलदार और नायब तहसीलदार रविवार रात में ही सरकारी वॉट्सएग्रुप से लेफ्ट हो गए और गाड़ियां भी लौटा दीं। अब वे सोमवार से तीन दिनों के लिए सामूहिक अवकाश पर चले गए हैं। उनके इस अवकाश से जनता से जुड़े कार्यों पर सीधा असर पड़ेगा। सीमांकन, बटांकन समेत अन्य कार्य इससे प्रभावित होने के साथ ही इनके पेंडिंग केसों की संख्या भी बढ़ेगी।
यह कार्य होंगे प्रभावित
तहसीलदार व नायब तहसीलदारों के सामूहिक अवकाश पर चले जाने से अपने जमीन संबंधी कार्यों को लेकर जनता को खासा परेशान होना पड़ेगा। इससे बटांकन और सीमांकन जैसे अनेक कार्य प्रभावित होंगे। वहीं केसों के पेंडेंसी की संख्या में भी वृद्धि होगी। इसके साथ ही लाडली बहना योजना की मॉनीटरिंग में भी परेशानियों का सामना करना पड़ेगा। गौरतलब है कि तहसीलदार और नायब तहसीलदार रविवार रात 8 बजे सभी ऑफिशियल वॉट्सएप ग्रुप से एक साथ लेफ्ट हो गए। रात 9 बजे तक अपनी सरकारी गाड़ियां सीनियर अफसरों को जमा करा दी गईं। डिजिटल साइन का डोंगल भी वापस अपने पास जमा कर लिया। जिसके बाद सोमवार से वह सामूहिक अवकाश पर चले गए।
अवकाश की यह है वजह
एमपी में फरवरी माह से ही तहसीलदारों को कार्यवाहक डिप्टी कलेक्टर और नायब तहसीलदारों को तहसीलदार बनाने का मुद्दा गरमाया हुआ हे। उनकी मंशा है कि कार्यवाहक डिप्टी कलेक्टर और तहसीलदार को लेकर आदेश सामान्य प्रशासन विभाग ही निकाले जिससे जिलों में उन्हें पदोन्नति उसी तहसील पर मिले जो की गई है। जिससे प्रभार के संबंध में दुविधा अथवा दुरुपयोग नहीं होगा। ऐसा होने से अफसरों के सम्मान को भी ठेस नहीं पहुंचेगी। अब तक इस संबंध में लिस्ट जारी नहीं की गई जिससे उन्होंने यह कदम उठाया।
यह हैं मांगें
मध्यप्रदेश राजस्व अधिकारी संघ के पदाधिकारियों का कहना है कि मांगों को लेकर लम्बे समय से आवाज उठाई जाती रही है। किंतु अब यह उनकी मांगों को पूरा नहीं किया गया। जिसके कारण तीन दिन का अवकाश ले लिया है। इनके द्वारा गुरुवार और शुक्रवार को काली पट्टी बांधकर काम किया गया। शनिवार और रविवार को सरकारी छुट्टी थी जिसके कारण काम नहीं किया। नायब तहसीलदारों को राजपत्रित घोषित करने और राजस्व अधिकारियों की ग्रेड-पे और वेतन विसंगतियों को दूर करने की मांगें शामिल हैं।
जीएडी ही जारी करे आदेश
पूर्व में राजस्व निरीक्षकों को कार्यवाहक नायब तहसीलदार बनाया गया था किंतु बाद में यह प्रभार ले लिया गया। ऐसे में यदि जीएडी आदेश निकालता है तो सीधे भोपाल स्तर से प्रक्रिया की जाएगी। मध्यप्रदेश राजस्व अधिकारी संघ के पदाधिकारियों के मुताबिक यदि कार्यवाहक डिप्टी कलेक्टर या तहसीलदार का प्रभार दिया भी जा रहा है तो इसका आदेश सामान्य प्रशासन विभाग (जीएडी) ही जारी करे न कि रेवेन्यू विभाग। इन्हीं मुद्दों को लेकर तहसीलदार और नायब तहसीलदार तीन दिनों के अवकाश पर हैं।