MPBSE: एमपी बोर्ड ने 12वीं एवं 10वीं कक्षा के एग्जाम पैटर्न में किया बड़ा बदलाव

MPBSE ने बोर्ड परीक्षा के प्रश्न पत्र के पैटर्न में बड़ा बदलाव किया है. इसके लिए एमपी बोर्ड ने ब्लू प्रिंट भी जारी कर दिया है.

Update: 2021-09-23 11:46 GMT

MPBSE: एमपी बोर्ड ने 12वीं एवं 10वीं कक्षा के पैटर्न में किया बड़ा बदलाव

भोपाल। चालू वर्ष 2021-22 के लिए मप्र माध्यमिक शिक्षा मंडल (MPBSE) ने 10वीं व 12वीं बोर्ड परीक्षा के प्रश्नों के पैटर्न में बदलाव किया है। चालू वर्ष का ब्लू प्रिंट (Blue Print) जारी कर दिया है और इसे माशिमं की वेबसाइट पर भी अपलोड कर दिया गया है। जिससे छात्र परीक्षा के हिसाब से तैयारी शुरू कर सके।

40 प्रतिशत होगे वस्तुनिष्ठ प्रश्‍न

दरअसल एमपी बोर्ड (MP Board) ने रिजल्ट का प्रतिशत बढ़ाने के लिए यह नया बदलाव किया है। जिसके तहत अब एमपी बोर्ड (MP Board of Secondary Education) की परीक्षाओं के प्रश्न पत्रो में वस्‍तुनिष्‍ठ प्रश्‍न (objective question) अधिक पूछे जाएंगे। पहले 25 प्रतिशत वस्‍तुनिष्‍ठ प्रश्न बोर्ड के पेपर में रहते थें, इसे बढ़ाकर अब 40 प्रतिशत कर दिया गया है। अब करीब चालीस फीसद अंकों के वस्तुनिष्ट प्रश्न होंगे। अभी तक माशिमं की दसवीं-बारहवीं परीक्षा में 25 फीसद अंकों के वस्तुनिष्ठ प्रश्न पूछे जाते थे।

बड़े उत्तर लिखने से मुक्ति

मध्य प्रदेश माध्यमिक शिक्षा मंडल (MPBSE) द्वारा लिए गये निर्णय के तहत प्रश्न पत्र में 40 फीसद अंकों के वस्तुनिष्ट प्रश्न किए जाने से छात्रों को अब बड़े-बड़े उत्‍तर लिखने से निजात मिलेगी। तो वहीं नए ब्लू प्रिंट को तिमाही परीक्षा में भी लागू किया गया है। यह परीक्षा 24 सितबंर से शुरू हो रही है।

'बेस्ट आफ फाइव' से पास हो सकेगे छात्र

दसवीं बोर्ड के परीक्षा परिणाम को बेहतर बनाने के लिए मंडल ने बेस्ट ऑफ फाइव योजना (Best of Five Scheme) के तहत अगर कोई छात्र एक विषय में अनुत्तीर्ण (Fail) भी हो गया और अन्य पांच में उत्तीर्ण है तो वह पास माना जाता है। यानि कि 9 वीं और 10वीं के छात्र 6 विषय की परीक्षा देंगे, लेकिन उनके परिणामों की गणना 5 विषय की ही होती है। गणित या अंग्रेजी में आधे से अधिक छात्र फेल होते है तो उन्हे बेस्ट आफ फाइव योजना लागू का लाभ मिल सकेगा।

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