एमपी में जोरदार बारिश का असर, तेज धार से दूसरी बार बह गया पुल
MP News: एमपी के कई जिलों में जोरदार बारिश से नदियों की धार भी तेज हो गई है। एक ऐसा मामला प्रकाश में आया है जिसमें पुल ही बारिश की भेंट चढ़ गया।
एमपी में मौसम परिवर्तन का दौर जारी है। कभी मौसम साफ रहता है तो कभी बूंदाबांदी का दौर शुरू हो जाता है। एमपी के कई जिलों में जोरदार बारिश से नदियों की धार भी तेज हो गई है। एक ऐसा मामला प्रकाश में आया है जिसमें पुल ही बारिश की भेंट चढ़ गया। पानी के तेज बहाव में पुल के बह जाने से आवागमन अवरुद्ध हो गया है।
बालाघाट में बारिश की भेंट चढ़ा पुल
एमपी के बालाघाट में बारिश से पुल बह गया। पिछली रात हुई बरसात के चलते बालाघाट-लामता से नैनपुर मार्ग में मानकुंवर नदी पर बना पुल (डायवर्सन) दूसरी बार बह गया। पुल बहने से बालाघाट से नैनपुर, मंडला, सिवनी, केवलारी, जबलपुर सहित अन्य मार्ग पर चलने वाले वाहनों के पहिए मंगलवार की सुबह से थम गए हैं। यहां पर यह बता दें कि अगस्त 2022 में लगातार बारिश से मानकुंवर नदी में बाढ़ आ गई थी। जिसके बाद 15-16 अगस्त को पुल का एक छोर क्षतिग्रस्त हो गया था। जिसके बाद से पुल का मरम्मत कार्य कर वाहनों के आवागमन लायक बना दिया गया था। किंतु बारिश से यह पुल एक बार फिर बह गया।
आज सुबह लोग पुल का नजारा देख रह गए दंग
पिछले दो-तीन दिन से लामता-चांगोटोला क्षेत्र में तेज बारिश हो रही है। जिसकी वजह से मानकुंवर नदी में जलस्तर बढ़ गया। पानी की धार तेज होने से पुल पुनः बह गया। गत अगस्त माह में बाढ़ की वजह से पुल क्षतिग्रस्त हुआ था। जिसका मरम्मत कर लोगों के आवागमन हेतु बना दिया गया था। किंतु सोमवार की रात एक फिर यह बह गया। मंगलवार की सुबह जब लोग नदी की ओर घूमने गए तो मरम्मत वाले पुल का नजारा देखकर दंग रह गए। जिसके बाद यहां पर आवागमन पूरी तरह से ठप हो गया है।
मरम्मत नहीं होने तक थमे रहेंगे वाहनों के पहिए
ग्रामीणों का कहना है कि जब तक पुल का मरम्मत कार्य नहीं हो जाता तब तक वाहनों के पहिए यहां थमे रहेंगे। ऐसे में इसका प्रकभाव आने-जाने के साथ ही कई व्यवसाय पर भी पड़ेगा। नैनपुर से लामता व बालाघाट मार्ग पर पड़ने वाला मानकुंवर नदी पर बना पुल वर्षों पुराना है। अगस्त माह में तीन दिन रही बाढ़ की वजह से यह क्षतिग्रस्त हो गया था। जिसके बाद इसकी मरम्मत की गई थी। आवागमन के लिए लोग इसी पुल का इस्तेमाल करते हैं। नदी में जलस्तर कम होने के बाद तकरीबन एक से डेढ़ किलोमीटर पैदल चलकर नदी के पार जाना पड़ेगा। पुलिस ने दोनों ओर से लोगों के आने-जाने पर रोक लगा दी है। फिलहाल मार्ग को पूरी तरह से बंद कर दिया गया है।