leptospirosis: UP में तेजी से फ़ैल रही बैक्टीरियल बीमारी 'लेप्टोस्पायरोसिस',जानिए इसके लक्षण, कारण और बचाव

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार पश्चिमी उत्तर प्रदेश में तेजी से बैक्टीरियल बीमारी लेप्टोस्पायरोसिस' फ़ैल रही है। जिसकी चपेट में कई लोग आ रहे है।

Update: 2021-09-03 14:45 GMT

 लेप्टोस्पायरोसिस 

पश्चिमी उत्तर प्रदेश में फैली बीमारी की पहचन में देश का स्वास्थ्य महकमा लगा हुआ है। डेंगू बुखार जैसे लक्षण वाली इस बीमारी में प्रदेश में एक सैकड़ा से ज्याद लोगों की जान चली गई है। बीमारी की जानकारी होते ही उत्तर प्रदेश की योगी सरकार सर्तक हो गई है। बीमारी का पता लगाने में देश का स्वास्थ्य अमला लगा हुआ है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार लखनऊ के केजीएमयू अस्पताल में आए सैंपल टेस्ट किये जा रहे हैं। अब तक की जांच में  'लेप्टोस्पायरोसिस' (leptospirosis) बीमारी सामने आई है।

क्या है लेप्टोस्पायरोसिस ( What is leptospirosis?)

स्वास्थ्य महानिदेशक वेदव्रत सिंह ने बताया कि कई लोगों के सैंपल टेस्ट करने के लिए गये है। लैब में जांच करने पर 'लेप्टोस्पायरोसिस' (leptospirosis) नामक बीमारी का पता चला है। उनका कहना है कि लेप्टोस्पायरोसिस एक ऐसी बीमारी है, जो हमारे आसपास या हमारे घर में मौजूद चूहे और सुअरों से फैलता है। यह बीमारी लेप्टोस्पायरा नामक बैक्टीरिया के कारण होती है।

क्या है 'लेप्टोस्पायरोसिस' बीमारी के लक्षण / (leptospirosis Symptoms)

लेप्टोस्पायरोसिस के लक्षण सामान्यतः डेंगू से ग्रसित मरीजों जैसे ही होते हैं। जैसे डेंगू में रोगी को तेज बुखार आता है वैसे ही इसमें भी रोगी बुखार में तपने लगता है। बुखार हाने से धीर-धीरे रक्त से प्लैटलैट्स गिरते हैं और फिर मरीज की मौत हो जाती है।

चूहे और सुअर के मूत्र से होता है फैलाव

बताया जाता है कि यह बीमारी जानवरों के कारण फैलती है। जांच मे पता चला है कि यह ज्यादातर चूहे और सुअर के मूत्र से फैलता हैं। बताया जाता है कि जब कोई मनुष्य संक्रमित चूहे र सूअर के मूत्र की चपेट में आ जाता है तो वह संक्रमित हो जाता है।

बचने के उपाय (Leptospirosis Precautions)

स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी आकेडे के अनुसार इस बीमारी से बचने के लिए खासतौर पर सावधानी की जरूरत होती है। साधारण बुखार होने पर चिकित्सक की सलाह लेनी चाहिए।

वही आवश्यक है कि हम जानवरो के मल मूत्र से दूर रहें। घर में चूहे को भगाने का इंतजाम करें। वहीं सूअरो के बांधे जाने वाले स्थान पर पर्याप्त साफ सफाई रखें और उनके सम्पर्क में आने से बचें।

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