जबलपुर के सुमित ने 15 देशों के खिलाड़ियों को पछाड़ जीता गोल्ड मेडल व जूनियर स्ट्रांग मैन का खिताब
न्यूजीलैंड में मध्यप्रदेश की संस्कारधानी जबलपुर के लाल ने 15 देशों के खिलाड़ियों को पछाड़ते हुए तिरंगा झंडा लहराया है। कामनवेल्थ पावर लिफ्टिंग टूर्नामेंट में गोल्ड जीतकर सुमित ने मध्यप्रदेश का नाम रोशन किया है।
न्यूजीलैंड में मध्यप्रदेश की संस्कारधानी जबलपुर के लाल ने 15 देशों के खिलाड़ियों को पछाड़ते हुए तिरंगा झंडा लहराया है। हाल ही में संपन्न हुई कामनवेल्थ पावर लिफ्टिंग टूर्नामेंट में गोल्ड जीतकर मध्यप्रदेश का नाम रोशन किया है। इसके साथ ही उन्हें जूनियर स्ट्रांग मैन के खिताब से भी नवाजा गया है।
कॉमनवेल्थ पॉवर लिफ्टिंग में दिखाया दम
जबलपुर के आधारताल में रहने वाले सुमित सिंह गत पांच वर्षों से कोच रोकसन के अंडर में पावर लिफ्टिंग कर रहे हैं। कॉमनवेल्थ पावर लिफ्टिंग टूर्नामेंट में सुमित सिंह ने अपना दम दिखाते हुए 15 देशों को खिलाड़ियों को पछाड़ दिया। जिस पर उन्हें जहां गोल्ड मेडल प्रदान किया गया तो वहीं जूनियर स्ट्रांग मैन के खिताब भी दिया गया। टूर्नामेंट में सुमित ने टोटल 652 किलो वेट उठाया था। उनके द्वारा 250 किलो स्काट, 255 किलो डेड लिफ्ट और 145 किलो की बेंच प्रेस की थी। न्यूजीलैण्ड में आयोजित हुई कॉमनवेल्थ पावर लिफ्टिंग टूर्नामेंट में उन्हें जो खिताब हासिल हुआ उसका श्रेय उन्होंने अपने माता-पिता व कोच को दिया है।
हैदराबाद में हुआ था चयन
जबलपुर आधारताल निवासी सुमित सिंह की मानें तो हाल ही में जूनियर नेशनल पावर लिफ्टिंग प्रतियोगिता का आयोजन हैदराबाद में किया गया था। जिसमें भी उन्होंने गोल्ड जीता था। जिसके बाद उनका चयन अंतरराष्ट्रीय पावर लिफ्टिंग के लिए किया गया था। कॉमनवेल्थ पावर लिफ्टिंग टूर्नामेंट में उनके द्वारा शानदार प्रदर्शन कर 15 देशों के खिलाड़ियों को मात दी गई। जिसके चलते उन्हें यह खिताब हासिल हो सका। न्यूजीलैंड के ऑकलैंड में हुई पॉवर लिफ्टिंग टूर्नामेंट गोल्ड व जूनियर स्ट्रांग मैन का खिताब जीतने पर उनके परिजनों सहित दोस्तों ने खुशी जाहिर की है।
सुमित को यह है मलाल
सुमित को इस बात की खुशी है कि उसने गोल्ड मेडल जीतकर मध्यप्रदेश का नाम रोशन किया है। वहीं उसे इस बात का मलाल भी है कि उसकी मेहनत को राज्य सरकार ने कभी समझा ही नहीं। सुमित का कहना है कि उन्हें इस बात का दुख है कि इंटरनेशनल खिलाड़ियों पर राज्य सरकार ध्यान नहीं दे रही है। सुमित के कोच की मानें तो यदि प्रदेश सरकार द्वारा ऐसे खिलाड़ियों पर ध्यान देकर उनकी मदद की जाए तो निश्चित ही जहां उनकी प्रतिभा में निखार आएगा तो वहीं वह प्रदेश व देश का नाम रोशन करेंगे।