डाक्टरों पर उपचार में लापरवाही का आरोप, आपरेशन के बाद महिला प्रयागराज के लिये रेफर, नहीं मिला स्वास्थ्य लाभ : REWA NEWS

रीवा। सीधी जिले के कमर्जी निवासी शीतल सिंह को उपचार के लिए 25 मार्च को संजय गांधी अस्पताल के प्रसूति वार्ड में भर्ती कराया था। जहां डाक्टरों ने आपरेशन कर प्रसव कराया। महिला ने स्वस्थ बच्चे को जन्म दिया। लेकिन आपरेशन के बाद अस्पताल के डाक्टर नदारद हो गये और महिला की हालत धीरे-धीरे बिगड़ने लगी। तीन दिनों तक कोई उपचार न मिलने से परिजन चिंतित हो गये और डाक्टरों से संपर्क किया लेकिन कोई सुनने को तैयार नहीं था। इसके बाद रीवा कलेक्टर को अवगत कराया गया। जहां कलेक्टर की फटकार के बाद डाक्टर अस्पताल पहुंचे लेकिन पीड़िता को कोई स्वास्थ्य लाभ नहीं मिल पाया। मंगलवार को प्रयागराज के लिये रेफर कर दिया गया। 

Update: 2021-03-30 17:45 GMT

रीवा। सीधी जिले के कमर्जी निवासी शीतल सिंह को उपचार के लिए 25 मार्च को संजय गांधी अस्पताल के प्रसूति वार्ड में भर्ती कराया था। जहां डाक्टरों ने आपरेशन कर प्रसव कराया। महिला ने स्वस्थ बच्चे को जन्म दिया। लेकिन आपरेशन के बाद अस्पताल के डाक्टर नदारद हो गये और महिला की हालत धीरे-धीरे बिगड़ने लगी। तीन दिनों तक कोई उपचार न मिलने से परिजन चिंतित हो गये और डाक्टरों से संपर्क किया लेकिन कोई सुनने को तैयार नहीं था। इसके बाद रीवा कलेक्टर को अवगत कराया गया। जहां कलेक्टर की फटकार के बाद डाक्टर अस्पताल पहुंचे लेकिन पीड़िता को कोई स्वास्थ्य लाभ नहीं मिल पाया। मंगलवार को प्रयागराज के लिये रेफर कर दिया गया। 

लापरवाही के कारण अक्सर चर्चाओं में रहता है अस्पताल

संजय गांधी अस्पताल में डाक्टरों की लापरवाही के मामले सामने आते ही रहते हैं। जिसका सबसे बड़ा कारण डाक्टरों द्वारा निजी नर्सिंग होम का संचालन करना है। इसी तरह का एक मामला सामने आया है जहां सीधी जिले के कमर्जी निवासी महिला को उपचार हेतु 25 मार्च को भर्ती कराया गया था। अभी हाल ही में सीधी जिले के एक शिक्षक की मौत डाक्टरों की लापरवाही के कारण हो गई थी लेकिन उसे रफा दफा कर दिया गया। शिक्षक के गले में नकली दांत फंस गया था और डाक्टर आपरेशन के लिये तैयार नहीं हुए बल्कि निजी नर्सिंग होम जाने की सलाह दे दी गई। जहां आपरेशन के दौरान शिक्षक की मौत हो गई।  

परिजनों ने लगाए आरोप

पीड़ित महिला के परिजनों ने बताया कि प्रसव पीड़ा के कारण शीतल सिंह को 25 मार्च को संजय गांधी अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहां डाक्टरों ने आपरेशन कर प्रसव कराया गया। इसके बाद डाक्टर मरीज को देखने नहीं आये। जिसके चलते मरीज की हालत गंभीर होती गई। परिजनों का कहना है कि यदि मरीज को कोई समस्या होती है तो इसकी समस्त जवाबदारी संजय गांधी अस्पताल के डाक्टरों की होगी। 

आपरेशन के बाद नदारद हो गए डाक्टर

परिजनों ने बताया कि पीड़ित महिला का आपरेशन के बाद डाक्टर लगातार नदारद रहे। तीन दिनों तक कोई देखने नहीं पहुंचा, उपचार पर ध्यान नहीं दिया जिस कारण महिला हालत बिगड़ती गई। सोमवार को परिजनों ने समस्या से रीवा कलेक्टर डा. इलैयाराजा टी को अवगत कराया। जहां कलेक्टर की फटकार के बाद डाक्टरों का दल अस्पताल पहुंचा। लेकिन महिला की हालत में सुधार नहीं होता देख मंगलवार को प्रयागराज के लिये रेफर कर दिया गया है। 

Tags:    

Similar News