भारतीय किसान यूनियन एवं अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति रीवा द्वारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन..
रीवा (विपिन तिवारी ) । कृषि क्षेत्र में नया अध्यादेश पर भारतीय किसान समिति एवम अखिल भारतीय किसान संघर्ष समिति ने प्रधानमंत्री के नाम रीवा कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा है। किसान नेताओं ने प्रधानमंत्री से सवाल पूछा है। कहा कि 2014 के लोकसभा चुनाव घोषणा पत्र में कहा गया था किसानों को फसलों का लागत के आधार पर मूल्य 50% मुनाफा देंगे लेकिन जो नया अध्यादेश आया है उस पर किसानों को कहे गए वादे के खिलाफ है ।
किसान समन्वय समिति अध्यक्ष सुब्रत मणि त्रिपाठी ने आगे कहा कि लगातार देश के किसानों की हालत फसलों की लागत के आधार पर मूल्य न मिलने के कारण बद से बदतर हो रही है किसानों ने आत्महत्या की है उन्होंने पीएम मोदी से पत्र लिखकर कहा कि क्या नए अध्यादेश के किसानों को उनकी फसलों के लागत मूल्य एवं 50% मुनाफा दिला पाएंगे।
अखिल भारतीय किसान समन्वय समिति की ओर से मांग की गई है। खरीफ की फसल जिसमें सोयाबीन, मक्का ,उड़द, मूंग की नष्ट हुई फसलों का तत्काल सर्वे कर ₹40000 प्रति एकड़ मुआवजा दिया जाए।
सब्जियां भी बड़े पैमाने पर बर्बाद हुई हैं लॉकडाउन एवं आते बिष्ट से सब्जी उत्पादक किसानों को दोहरी मार पड़ी है लेकिन सरकार द्वारा सब्जी उत्पादक किसानों को हुए नुकसान को लेकर अभी तक कोई बीमा योजना लागू नहीं की गई सब्जी वर्गीय फसलों का भी बीमा कराया जाए ।
लगातार बाढ़ की स्थिति के कारण पिछले वर्ष की तुलना में 100000कम किसानों ने फसल बीमा कराया है बीमा कराने की अंतिम तारीख नहीं बढ़ने के कारण अधिकांश किसान फसल बीमा कराने से वंचित रह गए ।नष्ट हुई फसलों का ₹40000 प्रति एकड़ मुआवजा दिया जाए ।
बिजली विभाग द्वारा घरेलू बिजली बिल में अत्यधिक वृद्धि की गई है जिसे वापस लिया जाए किसानों के बिजली के सभी बिल माफ किया जाए उत्कृष्ट से जन धन की क्षति हुई है बाढ़ से घरों में पानी भरने से हुए नुकसान का मुआवजा तथा प्रभावित लोगों को राहत राशि एवं मुक्त अनाज दिया जाए सोयाबीन कि ₹5000 तथा मक्का 25 ₹100 प्रति क्विंटल की समर्थन मूल्य पर खरीद की जाए गत वर्षों का फसल मुआवजा अभी तक किसानों को नहीं मिला है बकाया राशि का भुगतान करने के निर्देश भी जारी किए जाए जंगली जानवरों द्वारा नष्ट की गई फसलों का मुआवजा दिया जाए । आवारा पशुओं पर रोक लगाई जाए सभी सहकारी समितियों में खाद बीज उपलब्ध कराया जाए। इन्ही मांगो के साथ ज्ञापन सौपा गया।