उमरिया

नहीं थम रहा वनराजों के मौत का सिलसिला: बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में दो माह में 7 बाघ, एक साल में 20 की मौत

Bandhavgarh Tiger Reserve
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Bandhavgarh Tiger Reserve

बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में 2018 की गणना के अनुसार 165 बाघ पाए गए थे। साल 2023 में 13 बाघों की मौत हुई।

उमरिया। बांधवगढ़ टाईगर रिजर्व में बाघों की मौत का सिलसिला रुकने का नाम नहीं ले रहा है। दो माह के भीतर सात बाघों की मौत होना अपने आप में बड़ी बात है। अगर एक साल की बात करे तो लगभग 2 बाघों की मौत हो चुकी है। इसके बावजूद भी पार्क प्रबंधन कुंभकरणीय नींद में सोया हुआ है। बाघों की मौत के बारे में पार्क प्रबंधन से जानकारी चाही जाने पर उन्होंने आपसी संघर्ष, वर्चस्व को लड़ाईबताकर पल्ला झाड़ लिया जाता है। दिनांक 4 मार्च को फिर एक बाघ का शव पाया गया।

हर 10वें दिन एक मौत

बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में 2018 की गणना के अनुसार 165 बाघ पाए गए थे। साल 2023 में 13 बाघों की मौत हुई। मौत का कारण सर्वाधिक आपसी लड़ाई, बीमारी व प्राकृतिक रहा। पिछले माह मौत का औसतन आंकड़ा एक माह में एक थे। 2024 में यह बढ़कर 10वें दिन में एक मौत पहुंच गया। साल 2024 में अभी तक 7 बाघों की जान जा चुकी है। अगर एक वर्ष की बात करें तो लगभग आंकड़ा 2 बाघों की मौत सामने आ रहा है।

अधरा रह गया राजा का ख्वाब

अभी तक दो माह के भीतर हुई सात बाधों की मौतों में पांच नर, एक मादा तथा एक अज्ञात शव था। ये सभी युवा थे। यानि अपना नवा परिवार बसाने के चक्कर में शक्तिशाली बाघ का निवाला बन गये।

2 माह में सात बाघों की मौत

पहली घटना- 10 जनवरी को बांधवगढ़ के पतौर कोर एरिया में एक बाघ शावक का शव मिला था। चिल्हारी बीट के कक्ष क्रमांक आरएफ 421 में बाघ के अवशेष मिले थे। आसपास सर्चिग के बाद सिर व पैर के अलावा क्षत- विक्षत शारीरिक अवयव व चमड़ी मिली।

दूसरी घटना- 16 जनवरी को धमोखर बफर में हुई। 12 माह के नर शावक की लाश मिली थी। शव काफी पुराना था। शरीर में घाव व शव परीक्षण उपरांत मृत्यु का कारण आपसी फाइट बताया गया।

तीसरी घटना- 25 जनवरी को मानपुर रेंज में 2 साल की बाधिन की मौत हुई। पटपरहा निर्जन इलाके में शव पगडी रास्ते में पड़ा था।

चौथी घटना- 29 जनवरी को कल्लवाह रेंज में हुई। कोर एरिया में दो वर्षीय नर का शव मिला। मौत का कारण आपसी लड़ाई। साल 2024 में बाध की यह चौथी मौत है।

पांचवी घटना- 29 फरवरी को पनपथा कोर के बघड़ों बीट में पांच साल के बाघ का शव मिला। मौत का कारण आपसी लड़ाई। उम्र 5 साल है।

छठवी घटना- 3 मार्च को पिटौर बीट के आरएफ 435 के समीप शव बरामद हुआ।

सातवीं घटना- 4 मार्च को बांधवगढ़ टाईगर रिजर्व के वन परिक्षेत्र पनपथा कोर के बीट हरदी के कक्ष क्र. आरएफ. 455 में सुबह 11.30 पर एक नर बाघ मृत अवस्था में पाया गया।

अभी तक जितने भी बाघ की मौत हुई है। मृत बाधों के शरीर में चोट के निशान मिले है। मौत का कारण अन्य बाधों से लड़ाई प्रतीत हो रही है। - फतेह सिंह निनामा, एसडीओ

Neelam Dwivedi | रीवा रियासत

Neelam Dwivedi | रीवा रियासत

नीलम द्विवेदी जर्नलिज़्म से स्नात्कोत्तर हैं। 2016 से रीवा रियासत डॉट कॉम में बतौर कंटेंट राइटर कार्यरत हैं। इन्हें देश-दुनिया, राजनीति के अलावा स्पोर्ट्स, हेल्थ, होम डेकोर, रिलेशनशिप, लाइफस्टाइल और एंटर्टेंमेंट जैसे टॉपिक्स पर लिखने का अनुभव है। इसके अलावा खाली समय में नेचर को एक्सप्लोर करना पसंद करती हैं। साथ ही म्यूजिक, थिएटर और किताबों में भी इनकी बहुत रुचि है।

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