सुबह उठकर हथेली देखने के साथ ही करें यह कार्य, अवश्य ही माता लक्ष्मी हो जाएंगी प्रसन्न
माता लक्ष्मी को प्रसन्न करना है तो सुबह उठकर अगर आप अपना हाथ देखते हैं तो यह बहुत बढ़िया है लेकिन साथ में आपको कुछ और कार्य भी करनी चाहिए। कहा गया है कि ऐसा कार्य करें जिससे माता लक्ष्मी प्रसन्न हो जाएं। आपके जीवन में व्याप्त आर्थिक अभावभाव हर हाल में दूर हो जाएगा। हर व्यक्ति चाहता है कि उसे जीवन में कुछ धन संपत्ति कमाने और इकट्ठा करने का मौका अवश्य मिले । अगर आपकी भी ऐसी चाहत है तो यह अवश्य पूरी हो सकती है लेकिन इसके लिए आपको कुछ विशेष कार्य करने होंगे।
मन मस्तिष्क को करें स्वस्थ
आपका मन मस्तिष्क जितना स्वस्थ होगा आप इतनी ज्यादा तरक्की कर पाएंगे। शायद व्यावहारिक जीवन में आपको इस बात की जानकारी कहीं ना कहीं से अवश्य हुई होगी। लेकिन शायद आपने ध्यान न दिया होगा। लेकिन एक बार हम फिर से कह रहे हैं जीवन में सफल होने के लिए आवश्यक है कि व्यक्ति शारीरिक तौर पर स्वस्थ हो साथ ही मानसिक तौर पर ही स्वस्थ होते हैं। जो व्यक्ति शरीर और मानसिक तौर पर स्वस्थ होता है वह अवश्य ही तरक्की करता है।
इन तरीकों को दिनचर्या मे अपनाएं
व्यक्ति को सुबह उठकर सबसे पहले अपने दोनों हाथों को देखते हुए मंत्र का जाप करना चाहिए। कहा गया है की हथेली के अग्रभाग में माता लक्ष्मी का वास होता है। मध्य भाग में सरस्वती जी का और हाथ के हथेली के निचले भाग में भगवान गोविंद का वास होता है। सुबह उठकर हाथ दर्शन करने से माता लक्ष्मी, सरस्वती और भगवान श्री नारायण गोविंद का दर्शन करना कहला जाता है। इसे हर दिन करना चाहिए। ऐसा करने पर दरिद्रता दूर होती है और माता लक्ष्मी सरस्वती और गोविंद का आशीर्वाद प्राप्त होता है।
इसके साथ ही व्यक्ति को अपनी दिनचर्या स्नान के बाद माता तुलसी को जल अर्पित करना चाहिए। माता तुलसी में लक्ष्मी जी का वास बताया गया है। ऐसा करने पर अवश्य ही माता लक्ष्मी का आशीर्वाद प्राप्त होगा।
कहा गया है कि प्रतिदिन व्यक्ति को सूर्योदय के पूर्व जग जाना चाहिए। ऐसा करने पर व्यक्ति को स्वस्थ वातावरण में स्वस्थ जीवन प्राप्त होता है। सुबह का वातावरण जीवन में तरक्की लाने का वातावरण कहा गया है। इसे अवश्य अपनाना चाहिए।
जिस तरह व्यक्ति को सुबह सूर्योदय के पूर्व जग जाना चाहिए उसी तरह बताया गया है कि सुबह समय पर जगने के लिए आवश्यक है कि हम रात में देर तक न जागे। अगर हम समय से जलेंगे और तभी हम उन्नति कर सकते हैं।