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रीवा में बनेगा MP का पहला टाइगर ब्रीडिंग सेंटर: 1951 में महाराजा ने पहली बार कराया था बाघों का प्रजनन, इसलिए गोविंदगढ़ में होगी स्थापना

रीवा में बनेगा MP का पहला टाइगर ब्रीडिंग सेंटर: 1951 में महाराजा ने पहली बार कराया था बाघों का प्रजनन, इसलिए गोविंदगढ़ में होगी स्थापना
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रीवा में मध्यप्रदेश का पहला टाइगर ब्रीडिंग सेंटर बनाया जाएगा। यह सेंटर गोविंदगढ़ के खंधो पहाड़ पर 8 हेक्टेयर में बनेगा।

सफ़ेद बाघों की धरती कहे जाने वाले मध्य प्रदेश के रीवा में जल्द ही राज्य का पहला टाइगर ब्रीडिंग सेंटर बनाया जाएगा। यह सेंटर गोविंदगढ़ के खंधो पहाड़ पर 8 हेक्टेयर में बनेगा। वन विभाग ने इसका प्रस्ताव सेंट्रल ज़ू अथॉरिटी ऑफ इंडिया (CZAI) को भेज दिया है।

15 साल पहले बनी थी योजना

यह प्रोजेक्ट 15 साल पहले बना था। मुकुंदपुर में व्हाइट टाइगर सफारी और ज़ू बनाते समय ही ब्रीडिंग सेंटर बनाने का प्रस्ताव था, लेकिन पहले सफारी और ज़ू का काम पूरा करने पर ज़ोर दिया गया।

गोविंदगढ़ में क्यों बनेगा सेंटर?

गोविंदगढ़ को इस सेंटर के लिए इसलिए चुना गया है क्योंकि 1951 में रीवा के महाराजा मार्तंड सिंह जूदेव ने यहीं पर पहली बार सफेद बाघ की ब्रीडिंग कराई थी। गोविंदगढ़ में पैदा हुए सफेद बाघों को दुनिया के कई हिस्सों में भेजा गया था।

नए सेंटर की खासियत

नए ब्रीडिंग सेंटर में बाघों के लिए कई तरह की सुविधाएं होंगी, जैसे नाइट हाउस, आदि। यह सेंटर प्राकृतिक वातावरण में बाघों की ब्रीडिंग के लिए बनाया जाएगा।

Aaryan Puneet Dwivedi | रीवा रियासत

Aaryan Puneet Dwivedi | रीवा रियासत

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