छत्तीसगढ़ के साढ़े चार लाख कर्मचारी-अधिकारी रहे हड़ताल पर, काम-काज रखा ठप्प, उठाई यह मांग
सांकेतिक तस्वीर
Chhattisgarh / छत्तीसगढ़। प्रदेश के साढ़े चार लाख कर्मचारी-अधिकारियों ने फेडरेशन के बैनर तले शुक्रवार को अपना कामकाज बंद कर दिया। उनके हड़ताल पर होने से सरकारी विभागों का काम ठप्प रहा।
छत्तीसगढ़ के मंत्रालय में भी किसी डिपार्टमेंट में कर्मचारी काम करने नहीं पहुंचे। कलेक्टोरेट, पर्यटन विभाग, शिक्षा विभाग के कई कर्मचारियों का दल बाइक रैली निकालकर रायपुर के धरना स्थल पर पहुंचा। यहां कर्मचारियों ने दिन भर सभी बड़ी संख्या में जमा होकर धरना दिया।
कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के प्रांतीय संयोजक कमल वर्मा ने बताया कि वे कर्मचारी अवकाश लेकर महंगाई भत्ते की मांग कर रहे हैं। सभी कर्मचारियों का कहना हैं कि बढ़ती महंगाई के साथ उन्हें महंगाई भत्ता भी नई तरह से दिया जाए।
100 प्रतिशत सफल रहा आंदोलन
कर्मचारी नेताओं ने बताया कि उनके इस आंदोलन को यूनिवर्सिटी और निगम के कर्मचारी संगठनों ने हमें अपना समर्थन दिया है। जिससे आंदोलन 100 प्रतिशत सफल रहा।
बिजली कर्मचारियों की तरह भत्ता की मांग
कर्मचारी संगठनों का कहना है कि छत्तीसगढ़ के अलग-अलग सरकारी महकमों में लगभग 4.5 लाख से अधिक कर्मचारी काम करते हैं। जिसमें विद्युत मंडल के कर्मचारियों को 28 प्रतिशत महंगाई भत्ता मिल रहा है, जबकि अन्य विभाग के स्टाफ को 12 प्रतिशत भत्ता सरकार दे रही है।
उनकी मांग है कि लगातार बढ़ती मंहगाई को देखते हुये बिजली कर्मचारियों की तरह ही सभी विभाग के लोगो 28 प्रतिशम मंहगाई भत्ता दिया जाय। सगंठन के लोगो ने कहां कि सरकार उनकी मांग नही मानती है तो वे अनिश्चितकालीन हड़ताल करेगे।