नहीं रहीं पीएम मोदी की मां: नरेंद्र मोदी ने मां को मुखाग्नि दी, अंतिम सफर में हीरा बा के पार्थिव शरीर के साथ शव वाहन में ही बैठे रहे
Heeraben Modi Passes Away: भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां हीराबेन मोदी का दुःखद (Heeraben Modi Dies) निधन हो गया है. मंगलवार 27 दिसंबर की रात से ही उनकी तबियत बिगड़ने लगी थी जिसके बाद उन्हें रातोरात अहमदाबाद के यूएन मेहता हॉस्पिटल में एडमिट कराया गया था. वे 100 साल की थीं. मंगलवार देर रात सांस लेने में तकलीफ होने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था. उन्हें कफ की शिकायत भी थी. 30 दिसंबर को तड़के 3:30 बजे इलाज के दौरान हीराबेन मोदी की आत्मा से शरीर का त्याग कर दिया. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां हीराबा शुक्रवार सुबह 9:26 बजे पंचतत्व में विलीन हो गईं. नरेंद्र मोदी ने उन्हें मुखाग्नि दी. अंतिम सफर के दौरान वे मां की पार्थिव देह कंधे पर लेकर गांधी नगर स्थित घर से निकले. यात्रा के दौरान वे शव वाहन में ही पार्थिव देह के करीब बैठे रहे.
मोदी ने खुद ही निधन की जानकारी ट्वीट के जरिए दी. इसके बाद सुबह 7:45 बजे अहमदाबाद पहुंचे. यहां से वे सीधे गांधीनगर के रायसण गांव में भाई पंकज मोदी के घर गए. पार्थिव देह यहीं रखी गई थी. मोदी के पहुंचते ही अंतिम यात्रा शुरू हुई. सेक्टर-30 स्थित श्मशान घाट में अंतिम संस्कार किया गया.
मोदी ने अपना कोई तय कार्यक्रम रद्द नहीं किया. वे अंतिम संस्कार के बाद सीधे अहमदाबाद स्थित राजभवन गए. वे यहीं से बंगाल मंध हो रही राष्ट्रीय गंगा परिषद की बैठक में वर्चुअली जुटेंगे और प्रोजेक्ट्स की शुरुआत करेंगे.
#WATCH | Gujarat: Heeraben Modi, mother of PM Modi, laid to rest in Gandhinagar. She passed away at the age of 100, today.
— ANI (@ANI) December 30, 2022
(Source: DD) pic.twitter.com/wqjixwB9o7
अंतिम यात्रा पर हीरा बा, पीएम दे रहे कंधा
पीएम मोदी की मां हीरा बा की अंतिम यात्रा शुरू हो गई है. पीएम मोदी और उनके भाइयों ने उन्हें कंधा दिया. हीरा बा का अंतिम संस्कार गांधीनगर सेक्टर 30 के श्मशान में किया जाएगा. अंतिम यात्रा में सिर्फ परिवार के लोग ही शामिल होंगे. बीजेपी नेताओं और कार्यकर्ताओं को इकट्ठा होने से मना किया गया है.
Gandhinagar, Gujarat | Mortal remains of Heeraben Modi, mother of PM Modi being taken for the last rites. pic.twitter.com/h39kmQi0Po
— ANI (@ANI) December 30, 2022
मैं जब उनसे 100वें जन्मदिन पर मिला तो उन्होंने एक बात कही थी, जो हमेशा याद रहती है कि કામ કરો બુદ્ધિથી, જીવન જીવો શુદ્ધિથી यानि काम करो बुद्धि से और जीवन जियो शुद्धि से।
— Narendra Modi (@narendramodi) December 30, 2022
शानदार शताब्दी का ईश्वर चरणों में विराम... मां में मैंने हमेशा उस त्रिमूर्ति की अनुभूति की है, जिसमें एक तपस्वी की यात्रा, निष्काम कर्मयोगी का प्रतीक और मूल्यों के प्रति प्रतिबद्ध जीवन समाहित रहा है। pic.twitter.com/yE5xwRogJi
— Narendra Modi (@narendramodi) December 30, 2022
पीएम मोदी की मां नहीं रहीं
PM Modi's Mother Is No More: पीएम मोदी की मां हीराबेन मोदी की उम्र 99 साल थी. वह इस उम्र में भी पूरी तरह से स्वस्थ थीं मगर उम्र के साथ उनके इंटरनल ऑर्गन्स काम करना बंद करने लगे थे. इसी साल 18 जून के दिन उन्होंने अपने बेटे प्रधानमंत्री मोदी के साथ अपना 99वां जन्मदिन मनाया था. और 100वें वर्ष के पड़ाव में पहुंच गई थीं.
पीएम मोदी की मां की मृत्यु होने पर पूरे देश में शोक का माहौल है. गौरतलब है कि पीएम मोदी अक्सर अपने भाषणों में अपनी माता का जिक्र जरूर करते थे. उनका अपनी मां से काफी लगाव था और वह देश की सेवा करते हुए कुछ समय निकालकर उनसे मिलने जाते रहते थे.
हीराबेन मोदी की कहानी
Story Of Heeraben Modi: पीएम मोदी और उनका परिवार बेहद गरीब हुआ करता था. ये तो सभी जानते हैं कि प्रधानमंत्री मोदी बचपन में अपने पिता के साथ रेलवे स्टेशन में चाय बेचने का काम करते थे. जहां पीएम मोदी का बचपन चाय बेचते हुए गुजर रहा था वहीं उनकी माता हीराबेन मोदी अपने बच्चों की अच्छी परवरिश के लिए दिनरात मेहनत करती थीं.
हीराबेन का जन्म गुजरात के मेहसाणा के विसनगर में हुआ था. जब वह कुछ ही दिनों की थीं तभी उनकी मां इस दुनिया को छोड़कर चली गई थीं. उन्हें ना तो अपनी मां का चेहरा याद था और ना ही उन्हें अपनी मां का अंचल याद था. हीराबेन काफी गरीब परिवार से ताल्लुख रखती थीं इसी लिए कभी स्कूल नहीं जा पाईं।
हीराबेन की जीवनी
Heeraben Biography: बचपन के संघर्षों ने हीराबेन को अपनी उम्र से ज़्यादा समझदार कर दिया था. हीराबेन की शादी दामोदर दास मोदी से हुई. वह अपने घर की सबसे बड़ी बहु थीं इसी लिए जिम्मेदारियां भी अधिक थीं. हर सुबह चार बजे दामोदर दास मोदी अपनी चाय की दुकान के लिए निकल जाते तो हीराबेन दूसरों के घरों में बर्तन मांजने के लिए निकल जातीं। समय बचता तो चरखा चलकर कुछ पैसे और कमा लेती थीं. कपास के छिलकों से रुई निकालकर वह उनसे धागा बनाने का काम करती थीं.
दामोदर दास मोदी भी गरीब थे. इसी लिए उनका घर मिटटी और खपैरल से बना था. जिसकी खिड़की, दरवाजे और छत टूटी हुई थी. दीवारे दरक गई थीं. बरसात के दिनों में हीराबेन उस स्थानों में बर्तन रख देती थीं जहां से पानी टपकता था
पीएम मोदी और छोटे बेटे प्रह्लाद मोदी के जन्म के बाद हीराबेन और उनके पति वही काम करते रहे, पीएम मोदी अपनी मां को दूसरों के घरों में बर्तन मांजते हुए देखते थे. वह अपने पिता के साथ रेलवे स्टेशन में चाय बेचने के लिए जाते थे.
हीराबेन 100 बरस की हो चुकी थीं फिर भी बिना किसी सहारे के चलती थीं. उन्हें किसी प्रकार की गंभीर बीमारी नहीं थी मगर बढ़ती उम्र के साथ उनके शरीर ने साथ देना छोड़ दिया था. हीराबेन के निधन से पूरा देश दुःखी है.
हीराबेन मोदी के बच्चे
Heeraben Modi's Children's: हीराबेन मोदी के कुल पांच बेटे हैं, सोम मोदी जो गुजरात हेल्थ डिपार्टमेंट में ऑफिसर पद से रिटायर हुए हैं, पंकज मोदी जो गुजरात सरकार में क्लर्क का काम करते थे, अमृत मोदी जो रिटायर मशीन ऑपरेटर थे और प्रह्लाद मोदी जो एक शॉप ऑनर है और नरेंद्र मोदी जो देश के 14वें प्रधानमंत्री हैं.