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गृहमंत्री अमित शाह को एम्स में कराया गया भर्ती, कुछ दिन पहले कोरोना से जीती थी जंग

Aaryan Dwivedi
16 Feb 2021 11:58 AM IST
गृहमंत्री अमित शाह को एम्स में कराया गया भर्ती, कुछ दिन पहले कोरोना से जीती थी जंग
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गृहमंत्री अमित शाह को एम्स में कराया गया भर्ती, कुछ दिन पहले कोरोना से जीती थी जंग दिल्ली (केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को नई दिल्ली

गृहमंत्री अमित शाह को एम्स में कराया गया भर्ती, कुछ दिन पहले कोरोना से जीती थी जंग

दिल्ली (विपिन तिवारी): केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को नई दिल्ली स्थित एम्स में भर्ती कराया गया है. डॉक्टरों की एक टीम उनकी निगरानी कर रही है. हाल में ही अमित शाह ने कोरोना से जंग जीती है. देर रात उन्हें एम्स में भर्ती कराया गया है, जहां डॉक्टर रणदीप गुलेरिया की अगुवाई में डॉक्टर्स की टीम उनके हालात पर नजर बनाए हुए है.
बताया जा रहा है कि गृह मंत्री अमित शाह को देर रात करीब 2 बजे एम्स में भर्ती कराया गया है. उन्हें पुराने प्राइवेट वार्ड में रखा गया है. एम्स निदेशक डॉक्टर रणदीप गुलेरिया की अगुवाई में एक टीम उनकी देखभाल में लगी है. अभी कंफर्म नहीं हो पाया है कि अमित शाह को किस परेशानी के बाद एम्स में भर्ती कराया गया है.

कोरोना ने तोड़ी कमर, हर एक आदमी को 40 हजार रुपये तक का नुकसान…

कोरोना काल में हर एक व्यक्ति परेशान है. जहा भारत में कोरोना की वजह से बेरोजगारी बढ़ गई है. काम कर रहे वर्कर्स काम से निकाल दिए गए है. जिससे भारत की अर्थव्यवस्था गड़बड़ा गई है. भारतीय स्तर पर प्रति व्यक्ति करीब 27000 से 40 हजार रुपये तक के नुकसान की भी बात कही है।
भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के अर्थशास्त्रियों ने जहां चालू वित्त वर्ष में देश के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में 16.5 प्रतिशत की गिरावट की आशंका जतायी है. एसबीआई के अर्थशास्त्रियों ने सोमवार को जारी अपनी रिपोर्ट इकोरैप में कहा सैद्धांतिक रूप से सूचीबद्ध कंपनियों की आय में गिरावट की भरपाई लागत को युक्तिसंगत कर किया गया है। इससे कंपनियों के मार्जिन पर प्रभाव नहीं पड़ा।

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अर्थशास्त्रियों ने कहा कि जहां तक सूचीबद्ध कंपनियों के परिणाम का सवाल है, कॉरपोरेट जीवीए (कुछ वित्तीय और गैर-वित्तीय कंपनियों के उम्मीद से बेहतर परिणाम) वित्त वर्ष 2020-21 में आय में गिरावट के मुकाबले बेहतर रहा है। अब तक करीब 1,000 सूचीबद्ध इकाइयों ने पहली तिमाही के वित्तीय परिणाम की घोषणा की है।
परिणाम बताते हैं कि कंपनियों की सकल आय में 25 प्रतिशत से अधिक की गिरावट आई है, जबकि शुद्ध आय यानी लाभ में 55 प्रतिशत से अधिक की कमी दर्ज की गई है। हालांकि कॉरपोरेट जीवीए (सकल मूल्य वर्धन) में गिरावट केवल 14.1 प्रतिशत है।
राज्यवार विश्लेषण संकेत देते हैं कि कुल जीडीपी नुकसान में शीर्ष 10 राज्यों की हिस्सेदारी 73.8 प्रतिशत है। इसमें महाराष्ट्र का योगदान 14.2 प्रतिशत है। उसके बाद क्रमश: तमिलनाडु (9.2 प्रतिशत) और उत्तर प्रदेश (8.2 प्रतिशत) का स्थान है। इकोरैप के अनुसार इसके कारण अखिल भारतीय स्तर पर प्रति व्यक्ति नुकसान करीब 27,000 रुपये है। तमिलनाडु, गुजरात, तेलंगाना, दिल्ली, हरियाणा, गोवा में यह नुकसान 2020-21 में करीब 40,000 रुपये प्रति व्यक्ति है।

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