मध्यप्रदेश

सेमरिया विधायक अभय मिश्रा ने मंत्री पटेल से कहा- न्याय के लिए आपके चरणों में गिरने को तैयार हूं, रो पड़ें मंत्री; जानिए क्या है मामला...

सेमरिया विधायक अभय मिश्रा ने मंत्री पटेल से कहा- न्याय के लिए आपके चरणों में गिरने को तैयार हूं, रो पड़ें मंत्री; जानिए क्या है मामला...
x
मध्य प्रदेश विधानसभा के बजट सत्र में कांग्रेस विधायक अभय मिश्रा ने अपने परिवार पर फर्जी मुकदमे का मुद्दा उठाया। इस दौरान मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल रो पड़े।

बजट सत्र के दौरान एमपी विधानसभा में गूंजा कानून व्यवस्था का मुद्दा: मध्य प्रदेश विधानसभा का बजट सत्र अपने आठवें दिन में प्रवेश कर चुका है। गुरुवार को जैसे ही सदन की कार्यवाही शुरू हुई, कांग्रेस विधायकों ने राज्य में कानून व्यवस्था की स्थिति को लेकर सरकार पर हमला बोला। सेमरिया से विधायक अभय मिश्रा ने प्रश्नोत्तर काल के दौरान बेहद गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि उनका चुनाव लड़ना अब अपराध बन गया है।

अभय मिश्रा ने बताया कि थाना चोरहटा में उनके और उनके बेटे विभूति नारायण मिश्रा के खिलाफ एक मामला दर्ज किया गया है, जो पूरी तरह से फर्जी है। प्रभारी उपनिरीक्षक और फिर बाद में निरीक्षक अवनीश पांडेय द्वारा केस दर्ज किया गया और उन्हीं के द्वारा खात्मा लगाया गया। इस मुद्दे पर चर्चा के दौरान सदन में तनाव का माहौल बन गया।

मंत्री पटेल का भावुक जवाब और जांच का आश्वासन

अभय मिश्रा के सवालों का जवाब देते हुए राज्य मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल ने बेहद संवेदनशील रुख अपनाया। उन्होंने कहा कि परिवार से जुड़े मामलों में केस को सुलझाने के लिए कई रास्ते हो सकते हैं। मंत्री ने यह भी स्पष्ट किया कि अभय मिश्रा के मामले में रिपोर्ट दर्ज करने वाले अधिकारी हीरामणि पटेल थे, जबकि जांच की जिम्मेदारी राजेश तिवारी को दी गई थी। पटेल ने भावुक होते हुए कहा कि वह किसी भी तरह का अन्याय नहीं होने देंगे। इसके साथ ही उन्होंने घोषणा की कि थाना प्रभारी को तत्काल निलंबित किया जाएगा और मामले की उच्च स्तरीय जांच कराई जाएगी।

अभय मिश्रा की अपील और विपक्ष का शोर-शराबा

कांग्रेस विधायक अभय मिश्रा ने अपनी बात को और मजबूती से रखते हुए कहा कि वह न्याय के लिए मंत्री के चरणों में गिरने को तैयार हैं, लेकिन कार्रवाई जरूरी है। इस पर मंत्री पटेल ने आश्वासन दिया कि पुलिस का मनोबल बनाए रखते हुए भी सही कदम उठाया जाएगा। वहीं, विधायक अजय सिंह ने तंज कसते हुए कहा कि अगर पहले ऐसी कार्रवाई हुई होती तो मऊगंज जैसी घटनाएं न होतीं। इस बयान के बाद सदन में जमकर हंगामा हुआ और विपक्ष ने सरकार को घेरने की कोशिश की।

विपक्ष ने उठाई सजा और सम्मान की मांग

नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने चर्चा को आगे बढ़ाते हुए कहा कि विधायक नारायण सिंह पट्टा के साथ भी ऐसा ही वाकया हो चुका है। उन्होंने जोर देकर कहा कि जो लोग अच्छा काम करते हैं, उन्हें सजा नहीं मिलनी चाहिए, लेकिन गलत करने वालों को कड़ी सजा जरूरी है। सिंघार ने सरकार से पुलिस अधिकारियों के मनमाने रवैये पर लगाम लगाने की मांग की। इस बीच, अभय मिश्रा ने कहा कि मंत्री पटेल को उनकी बात सुनकर अपनी आपबीती याद आ गई होगी, क्योंकि उनके बच्चे पर भी दो महीने पहले फर्जी मुकदमा दर्ज हुआ था, जिसे वह रोक नहीं पाए।

सरकार पर सवाल और मंत्री का भावुक होना

उपनेता प्रतिपक्ष हेमंत कटारे ने इस पूरे मामले को गंभीर बताते हुए कहा कि एक विधायक और उनके परिवार को झूठे मामलों में फंसाना चिंता का विषय है। उन्होंने मंत्री पटेल के सदन में भावुक होने पर तंज कसा और कहा कि वह गृह मंत्री नहीं हैं, इसलिए अपनी ही सरकार से सवाल नहीं उठा सकते। कटारे ने दावा किया कि सरकार होते हुए पटेल के परिवार पर भी फर्जी FIR हुई थी, जिसके चलते वह भावनाओं में बह गए। वहीं, उमंग सिंघार ने अच्छे पुलिस अधिकारियों को प्रोत्साहन और दबंगई करने वालों पर कार्रवाई की मांग दोहराई।

Next Story