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रीवा: भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ा ग्राम पंचायत अमाव, फर्जी बिल के सहारे लाखों रुपये का हुआ बंदरबांट
रीवा । लोकतंत्र की सबसे छोटी इकाई गांव होती है। गांव की जनता द्वारा चुन गया व्यक्ति सरपंच कहलाता है। जिसे गांव के विकास का जिम्मा होता है लेकिन जब गांव का मुखिया,ग्राम सचिव भ्रष्टाचार में संलिप्त हो तब विकाश गांव आते आते दम तोड़ देता है। ताजा मामला ग्राम पंचायत अमाव में हुए पंच परमेश्वर योजना के तहत व्यापक भ्रष्टाचार का है। पंच परमेश्वर योजना के अंतर्गत बनने वाली सड़क के नाम पर लाखों रुपये निकाले गए बाबजूद इसके सड़क का निर्माण नही हुआ है। हल्की बारिश होने पर सड़कों पर जलभराब की स्थिति बन जाती है।गांव वालों ने बताया कि सरपंच पति मोती सेना ने कागज़ पर फ़र्जी सेन कंटेक्सन कंपनी तैयार कर लाखों का बिल तैयार कर खाते से पैसे निकाले हैं।बची कसर भी नही छोड़ी है। फ़र्जी तरीके से ओम ट्रेडर्स के जरिये भी पैसे निकाले गए।
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नगर पालिक का कर्मचारी कैसे बना ठेकेदार
पंच परमेश्वर योजना के तहत समतलीकरण के लिए खाता संख्या 319155881xx पर लाखों रुपये भुकतान किया गया। यह खाता बबलेश मिश्रा का है। जो नगर पालिक का कर्मचारी है। पिता के रसूख़ की वज़ह से बाबूलेस के नाम से पैसे निकाला गया।
ग्राम सचिव अपनें लड़के के नाम से निकाले रुपये
ग्राम सचिव ने अपने बेटे सुखेश कुमार के नाम से पैसे निकाले हैं। पंच परमेश्वर योजना में सुखेश को ठेकेदार बनाया गया है। फ़र्जी तरीक़े से बिल लगा कर लाखों रुपयों का भ्रष्टाचार हुआ है। इस पूरे मामले में सरपंच, सचिव की संलिप्तता सामनें आई है।
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.......... आरटीआई कार्यकर्ता पुष्पेंद्र तिवारी ने बताया कि गांव में व्यापक भ्रष्टाचार हुआ है। न तो रोड बनी है।न तो जलनिकासी के लिए नाली। न पंचायत भवन का निर्माण हुआ है। न रंगरोगन फिर भी इन सब के नाम से अवैध तरीके से पैसे निकाले गए हैं। फ़र्जी सेन कन्ट्रक्सन कंपनी,ओम ट्रेडर्स के नाम का बिल लगा कर लाखो रुपये का बंदरबांट हुआ है। सबसे बड़ी हैरत की बात यह है कि सचिव अपनें बेटे सुखेश यादव सरपंच अपने पति मोती सेना, साथ ही नगर पालिक में काम कर रहे कर्मचारी बाबूलेस मिश्रा के नाम से पैसे निकाले गए हैं। जो पूरी तरह से फ़र्जी है।
भ्रष्टाचार की शिकायत हमनें जनपद त्योंथर पर की है। साथ ही इस पूरे मामलें को EOW तक ले जाऊंगा हमनें जांच कराने का मन बना लिया है। आवागमन चलते ही भोपाल जाऊंगा औऱ पूरे मामलें की जांच कराने के लिए आवेदन प्रस्तुत करूँगा।। ........ वर्जन
भ्रष्टाचार का मामला संज्ञान में आया है। मैं इसकी जांच करूँगा। जांच में जो भी दोषी पाया जाएगा उन्हें बक्शा नही जाएगा। उन पर कार्यवाही करूँगा।। संजय सिंह सीओ त्योंथर।