मध्यप्रदेश

एमपी की 2 वर्षीय दिविशा का कमाल, 3 मिनट में किया हनुमान चालीसा का पाठ, इंडिया बुक्स ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हुआ नाम

Sanjay Patel
28 Aug 2023 11:50 AM IST
एमपी की 2 वर्षीय दिविशा का कमाल, 3 मिनट में किया हनुमान चालीसा का पाठ, इंडिया बुक्स ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हुआ नाम
x
MP News: मध्यप्रदेश की बेटी दिविशा ने अपना कमाल दिखाया। उसने मात्र 2 वर्ष 10 माह की उम्र में सबसे तेज 3 मिनट 33 सेकंड में हनुमान चालीसा का पाठ किया। दिविशा का नाम इंडिया बुक्स ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हो गया है।

मध्यप्रदेश की बेटी दिविशा ने अपना कमाल दिखाया। उसने मात्र 2 वर्ष 10 माह की उम्र में सबसे तेज 3 मिनट 33 सेकंड में हनुमान चालीसा का पाठ किया। दिविशा का नाम इंडिया बुक्स ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हो गया है। उसने यह रिकार्ड 2 से 3 साल के एज ग्रुप के बच्चों में सबसे फास्टेट हनुमान चालीसा का पाठ करने में दर्ज कराया।

कई मंत्र व भजन हैं कंठस्थ

इंदौर की दिविशा राठी का नाम इंडिया बुक्स ऑफ रिकॉर्ड्स में दर्ज हो गया है। दिविशा को राज्यों की राजधानियों के साथ ही कई देशों के झंडे की भी पहचान है। उसे कई मंत्र, भजन के साथ ही देशभक्ति गीत भी कंठस्थ हैं। दिविशा की माता गृहणी हैं जबकि पिता सीए हैं। उसने मात्र 2 साल 10 महीने और 29 दिन की उम्र में पूरी हनुमान चालीसा का पाठ करके इंडिया बुक्स ऑफ रिकॉर्ड्स में अपना नाम दर्ज करवाया है। उसकी इस सफलता का श्रेय माता इंदु और पिता मनोज राठी को जाता है।

सुनकर याद किया हनुमान चालीसा पाठ

दिविशा की मां इंदु के मुताबिक जब हम लोग घर में बैठकर हनुमान चालीसा का पाठ करते थे तब वह पीछे बैठकर गुनगुनाती थी। तभी से उसने यह पाठ याद करना प्रारंभ कर दिया था। उनके पिता मनोज का कहना है कि बेटी ने 3 मिनट 33 सेकेंड में हनुमान चालीसा का पाठ करके यह उपलब्धि हासिल की है। दिविशा के बड़े भाई विवान को भी शिव तांडव स्त्रोत के लिए इंडिया बुक्स ऑफ रिकॉर्ड्स से एप्रिसिएशन सर्टीफिकेट मिल चुका है। वह अपने बड़े भाई से ही प्रेरणा पाती है। दिविशा की मां का कहना है कि यह कला उसमें बचपन से ही है। 15 अगस्त के दिन उसने बॉर्डर मूवी का गाना गाकर बिल्डिंग के लोगों का ध्यान आकर्षित किया था।

स्कूल के साथ घर में भी करती है प्रैक्टिस

दिविशा की मां का कहना है कि वह अपनी चचेरी बहन मामा की बेटी से सबसे अधिक इंस्पायर हुई है। उन्हें भी हनुमान चालीसा का पाठक याद है। उनका कहना था कि वह हाउस वाइफ हैं इसलिए अधिकांश समय बच्चों के साथ ही बिताती हैं। स्कूल से आने के बाद दो से तीन घंटे एक-एक घंटे अंतराल में हनुमान चालीसा की प्रैक्टिस फ्लैश कार्ड और संगीत की थोड़ी-थोड़ी प्रैक्टिस करवाते हैं। जब यह लगा कि दिविशा को हनुमान चालीसा पूरी तरह याद हो गई तब टाइम रिकॉर्ड कर देखा और पाया कि इस ऐज ग्रुप में सबसे तेज चालीसा का पाठ करने लगी थी। इसके बाद यह कोशिश रही कि यह खिताब दिविशा के नाम हो और अब उसने इंदौर के साथ ही अपने परिवार का नाम भी रोशन किया है।

Next Story