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जनलेवा हुई प्लाजमा थैरपी, ग्वालियर में 31 लोगों ने गंवाई जान
जनलेवा हुई प्लाजमा थैरपी, ग्वालियर में 31 लोगों ने गंवाई जान
ग्वालियर। कोरोना के इलाज में उपयोग की जाने वाली प्लाजमा थैरपी जीवन की रक्षा करने के बजाय रोगियांे की जान ले रही है। इसका उपयोग जानलेवा साबित हेा रहा है। प्लाजता थैरपी से मध्य प्रदेश के ग्वालियर में अब तक 31 लोगों की जान जा चुकी है। इतना सब होने के बाद अब सीएमएचओ ने जानकारी तलब की है। वही अकेले जयारोग्य सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल में 53 मरीजों की प्लाजमा थैरपी की गई थी जिसमें 24 लोगांे ने जान गवा दी।
वही अन्य कई निजी अस्पतालों में भी 7 रोगियों की मौत हो गई जिन्हे प्लाजमा चढ़ाया गया था। इतना सब होने के बाद में स्वास्थ्य अमले की नीद उडी हुई है। अभी हाल के दिनों मे नकली प्लाजमा का कारोबार करने वाले एक व्यक्ति का पता चला जो नकली प्लाजमा बेंचकर पैसा बनाने में लगा हुआ था।
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इसका खुलासा दतिया के मनोज गुप्ता की मौत के बाद हुआ। जानकारी के अनुसार इसके द्वारा ब्लड बैंक से एक यूनिट प्लाजमा लाया जाता था और उसमें पानी आदि मिलाकर उससे 3 से 4 यूनिट नकली प्लाजमा बनाकर बाजार में बेच दिया जाता था। इसके लिए उसने सभी के पास सेटिंग बना रखी थी।
ऐसे में सवाल यह उठता है कि आखिर उस आरोपी को किस तरह से ब्लड बैंक प्लाजमा देती थी। और उसके द्वारा बनाया गया नकली प्लाजमा वापस रोगी के पास तक कैसे पहुंच जाता था। इस नकली प्लाजमा ने कई ऐसे रोगियोें के जान का दुश्मन बन गया जो शायद बिना प्लाजमा के भी ठीक हो जाते।
प्लाजमा थैरपी के द्वारा कोरोना रोगियों का इलाज शुरू हो जाने से पूरे विश्व के रोगियों में एक भरोषा जगा था। लेकिन इसके बाद प्लाजमा में हो रही मिलावट खोरी से रोगी के जान पर बन आई। कहा जाता है कि अगर स्वास्थ्य प्रशासन इस मामले की जांच इमानदारी से करे तो कई आरोपी जेल की शलाखों के पीछे होंगे। इस मामले में स्वास्थ्य विभाग कर्मचारियों के मिले होने की सम्भावना से इंकार नही किया जा सकता।