CG : संविदा महिला कर्मियों,सब इंजीनियर्स व किसानों को तोहफा,6 महीने का प्रसूति अवकाश,पंप के लिए फ्लैट रेट
रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार ने महिला संविदा कर्मचारियों को बड़ा तोहफा दिया है। उन्हें अब नियमित कर्मचारियों की तर्ज पर 180 दिन के मातृत्व अवकाश का लाभ मिलेगा। ये लाभ तीसरी संतान के लिए नहीं मिलेगा। इसके अलावा अब किसानों के लिए सहज बिजली बिल स्कीम को भी मंजूरी दे दी गई है।बैठक में लिए गए निर्णयों के मुताबिक अब तृतीय वर्ग के 10 फीसदी अनुकम्पा नियम शिथिल किए गए हैं। इन्हें अगले डेढ़ माह के लिए शिथिल किया गया है।
मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में किसानों को राहत देने कृषक जीवन ज्योति योजना के तहत प्रदेश के सभी किसानों के सभी पंपों को बिना किसी क्षमता एवं खपत की सीमा के फ्लैट रेट की सुविधा लागू करने का निर्णय लिया गया। इस निर्णय के अंतर्गत कृषक जीवन ज्योति योजना अंतर्गत राज्य के सभी किसानों के सभी पंपों पर बिलिंग के लिए फ्लैट रेट की सुविधा पंप की संख्या के अनुसार अलग-अलग प्रस्तावित की गई है।
कृषक जीवन ज्योति योजना में विस्तार के बाद इस योजना के अंतर्गत किसानों को विकल्प के अनुसार पंप की क्षमता एवं संख्या के आधार पर बिजली की सप्लाई नीचे दर्शाई गई फ्लैट रेट पर की जाएगी।
पंप की क्षमता फ्लैट रेट की दर
05 एचपी तक के द्वितीय पंप पर - रूपए 200 प्रति एचपी प्रतिमाह
05 एचपी से अधिक प्रथम एवं द्वितीय पंप पर - रूपए 200 प्रति एचपी प्रतिमाह
05 एचपी तक के एवं 05 एचपी से अधिक क्षमता - रूपए 300 प्रति एचपी प्रतिमाह
के तृतीय एवं अन्य पंप पर
इस निर्णय के लागू करने के बाद कृषक जीवन ज्योति योजना के अंतर्गत सहज बिजली बिल स्कीम के तहत किसानों को बिजली बिल की बकाया राशि के लिए जारी बिलों को किसानों के विकल्प के अनुसार फ्लैट रेट पर संशोधित किया जाकर भुगतान की सुविधा दी जाएगी। योजना के अंतर्गत विकल्प प्रस्तुत करने के लिए 31 मार्च 2019 की अवधि निर्धारित की गई है।
एक अन्य बड़े निर्णय के तहत संविदा पर नियोजित महिला कर्मचारियों को भी शासकीय महिला कर्मचारियों की तरह 180 दिवस के प्रसूति अवकाश (संवैतनिक) की पात्रता होगी। यह अवकाश दो जीवित संतानों के उपरांत हुए प्रसव पर लागू नहीं होगा। इसके साथ ही यह अवकाश 180 दिवस अथवा संविदा नियुक्ति की अवधि समाप्ति तक, जो भी पहले हो, के लिए होगी।
इसी तरह सीधी भर्ती के तृतीय श्रेणी के पदों पर अनुकम्पा नियुक्ति के लिए 10 प्रतिशत के सीमा बंधन को एक बार के लिए डेढ़ माह तक की अवधि के लिए शिथिल किए जाने का भी फैसला किया गया।
वहीं कैबिनेट ने जल संसाधन विभाग में उप अभियंताओं का सहायक अभियंता के पद पर पदोन्नति के लिए सहायक अभियंता के 505 सांख्येत्तर पद की स्वीकृति प्रदान की।
इसके साथ ही निर्णय लिया गया कि, प्रदेश के नाई समाज के परम्परागत केश शिल्प के संरक्षण और उनके व्यवसाय के संवर्धन के लिए समाज कल्याण विभाग के अन्तर्गत ’छत्तीसगढ़ राज्य केश शिल्पी कल्याण बोर्ड ’ का गठन किया जाएगा। आज की जीवन शैली में केश शिल्प के विशेष महत्व को देखते हुए बोर्ड के गठन का निर्णय लिया गया है। बोर्ड में एक अध्यक्ष और केश शिल्प के क्षेत्र में कार्यरत सामाजिक समुदाय से दो सदस्य होंगे, जिनमें कम से कम एक महिला होगी।
वित्त, पंचायत एवं ग्रामीण विकास, समाज कल्याण, श्रम, नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग, आदिम जाति एवं अनुसूचित जाति विकास विभाग, कौशल विकास, तकनीकी शिक्षा, रोजगार तथा विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभागों के प्रतिनिधि इसमें शामिल रहेंगे, जो उप सचिव स्तर से कम के नहीं होंगे। समाज कल्याण विभाग के अपर संचालक इस बोर्ड के सदस्य सचिव होंगे।
बोर्ड परम्परागत केश शिल्प में संलग्न समुदाय का समग्र विकास सुनिश्चित करने के लिए सुझाव देगा। केश शिल्प में संलग्न कामगारों के सामाजिक, आर्थिक और शैक्षणिक उत्थान के लिए नीति तैयार कर उसकी अनुशंसा शासन को दी जाएगी।