CG में अब नहीं थमेंगे यात्री बसों के पहिए, यातायात महासंघ ने हड़ताल वापस ली
रायपुर। छत्तीसगढ़ यातायात महासंघ ने 25 जून को प्रस्तावित हड़ताल वापस ले ली है। दरअसल हड़ताल पर जाने से ठीक एक दिन पहले रविवार दोपहर 12 बजे बस ऑपरेटरों की परिवहन मंत्री राजेश मूणत के साथ उनके निवास पर बैठक हुई।
करीब एक घंटे तक चली इस बैठक में ऑपरेटरों की मांग पर मंत्री ने चर्चा की और उस पर अपनी सहमति जताई। मंत्री से मिले आश्वासन के बाद महासंघ ने हड़ताल पर नहीं जाने का फैसला लिया।
पेट्रोल-डीजल की कीमतों में लगातार वृद्धि के बाद भी किराया यथावत रहने से परेशान बस मालिकों ने बस किराया में 40 फीसद वृद्धि समेत चार सूत्रीय मांग को लेकर 25 जून से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने का एलान किया था।
बस संचालकों का तर्क था कि पेट्रोल-डीजल की कीमतें बढ़ने के बाद भी बसों का किराया नहीं बढ़ाने से उन्हें नुकसान उठाना पड़ रहा है। छत्तीसगढ़ यातायात महासंघ के महासचिव हाजी शफीक रजा ने बताया कि बसों के पहिए थमने से पहले ही सरकार की तरफ सार्थक पहल हुई।
परिवहन मंत्री राजेश मूणत के बुलावे पर महासंघ का एक प्रतिनिमिंडल उनके सरकारी निवास पर रविवार को पहुंचा। महासंघ के पदाधिकारियों ने एक घंटे तक मंत्री को अपनी चार सूत्रीय मांगों के संबं में विस्तार से जानकारी दी और यथोचित मांगों को तत्काल पूरा करने पर जोर दिया।
मंत्री मूणत ने सभी मांगों पर अपनी सहमति जताई और जल्द ही इसे पूरा करने का आश्वासन दिया। मंत्री से मिले आश्वासन के बाद महासंघ ने हड़ताल वापस ले ली। यातायात महासंघ व छत्तीसगढ़ बस ऑपरेटर फेडरेशन ने मंत्री के प्रति अाभार जताते हुए धन्यवाद दिया।
इस बैठक में बस मालिक प्रकाश देशलहरा, अनिल पुसदकर, नेवीशरण गरचा, रईश अहमद शकील, बृजेश त्रिपाठी, सुमित ताम्रकार, अमित मिश्रा, घनश्याम अग्रवाल, जावेद, कमलजीत पांथरे, सैय्यद अनवर अली, अनुराग शुक्ला, मनीष जैन समेत अन्य शामिल थे।
यह थीं प्रमुख मांगें
बसों के किराए में 40 फीसद तक बढ़ोतरी की जाए, गाड़ी की आयु सीमा 12 साल से बढ़ाकर 15 साल की जाए, हर मार्ग पर गाड़ियों की परमिट में कम से कम 10 मिनट का अंतराल हो, पुरानी रजिस्टर्ड गाड़ियों की स्थिति यथावत रखी जाए।