अगर घर में हो गए ये अपशगुन तो घर के सदस्यों में मडराता है खतरा, सब कुछ हो जाता है नाश, जानिए!
जीवन में जब भी कुछ अच्छा होता है तो उसे शुभ माना जाता है लेकिन जब कुछ गलत हो जाता है तो उसे अपशकुन की संज्ञा दी जाती है। कई बार शकुन और अपशकुन का विचार लोग मनचाही सफलता प्राप्त ना करने को भी मानते हैं लेकिन यह गलत है। सृष्टि का संचालन करने वाला परमात्मा किसी एक के सुख या लाभ को देखकर नहीं करता। उसे तो समूचे जग की चिंता होती है। आज हम कुछ ऐसे अपशगुनों के बारे में बताने जा रहे हैं जिनके होने पर व्यक्ति को सचेत होकर उपाय करने चाहिए।
शीशे का अपशगुन
शकुन शास्त्र के मुताबिक टूटे हुए शीशा में चेहरा देखना बहुत ही अशोक माना गया है। शीशे का टूटना भी अपशगुन माना गया है। वही बताया गया है कि हमें अपने घर के ईशान कोण में शीशे के टुकडे नहीं जमा करनो चाहिए। इसे अपशगुन बताया गया हैं। इससे बचना चाहिए।
झाडू का अपशगुन
कहा गया है कि झाडू में माता लक्ष्मी का वास होता है। इसीलिए धनतेरश के दिन अक्सर लोग झाडू खरीदते हैं। वही कहा गया है कि झाड़ू में पैर मारना तथा संध्या के समय झाड़ू लगाना अपशगुन है। इसीलिए घर के बडे-बुजुर्ग झडू में पैर लगने पर दोष मानते हैं। बताया गया है कि हमे झाड़ु को छुपाकर एक सुरक्षित कोने में रखना चाहिए।
छींक का आना
अगर घर से बाहर निकलते समय छींक आ जाती है तो इसे अपशगुन माना जाता है। लेकिन छींक के सम्बंध में का गया है कि अगर यात्रा के समय 2 बार छींक आये तो इसे शुभ माना गया है। एक छीक को सर्वथा अपशगुन माना गया है।
जानवरों का अपशगुन
कहा गया है कि अगर घर से निकलते समय या फिर रास्तें में कोई बिल्ली रास्ता काट दें तो इसे अपशगुन माना जाता है। घर के आसपास बिल्ली या फिर कुत्ते का रोना अपशगुन होता है। अगर यह जानवर अचानक से घर में लडने लगे तो इसे भी अपशगुन माना जाता है।
दूध का गिरना
अगर दूध उबलकर जमीन पर गिर जाय तो इसे अपशगुन माना जाता है। वही साधारण तौर पर भी दूध के गिरने को अपशगुन माना जाता है। दूध के गिरने पर किसी बडी दुर्घअना का अंदेशा होना माना जाता है।
नोट-ः उक्त समाचार में दी गई जानकारी सूचना मात्र है। रीवा रियासत समाचार इसकी पुष्टि नहीं करता है। दी गई जानकारी प्रचलित मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। ऐसे में किसी कार्य को शुरू करने के पूर्व विशेषज्ञ से जानकारी अवश्य प्राप्त कर लें।