टेक होम राशन में गड़बड़ी रोकने रियल टाइम मॉनीटरिंग सिस्टम से होगी निगरानी

मध्यप्रदेश के विभिन्न आंगनबाड़ी केन्द्रों के माध्यम से सप्लाई होने वाले पोषण आहार में अब गड़बड़ी नहीं की जा सकेगी। महिला एवं बाल विकास विभाग संपर्क एप के माध्यम से टेक होम राशन का सिस्टम ऑनलाइन करने की तैयारी में है।

Update: 2022-12-01 09:35 GMT

मध्यप्रदेश के विभिन्न आंगनबाड़ी केन्द्रों के माध्यम से सप्लाई होने वाले पोषण आहार में अब गड़बड़ी नहीं की जा सकेगी। यह व्यवस्था पूरी तरह से ऑनलाइन की जा रही है। महिला एवं बाल विकास विभाग संपर्क एप के माध्यम से टेक होम राशन (टीएचआर) का सिस्टम ऑनलाइन करने की तैयारी में है। जिसमें टीएचआर बनाने वाले प्लांट से लेकर हितग्राहियों का पूरा ट्रेकिंग सिस्टम ऑनलाइन किया जा रहा है। पोषण आहार में अक्सर गड़बड़ियां किए जाने के मामले सामने आते रहते थे। ऐसे में ट्रेकिंग सिस्टम ऑनलाइन हो जाने से इसमें होने वाली गड़बड़ी पर अंकुश लगाया जा सकेगा। रियल टाइम मॉनीटरिंग सिस्टम की प्रक्रिया पूर्ण होने में लगभग दो माह का समय लग सकता है।

टीएचआर व्यवस्था अभी है ऑफलाइन

आंगनबाड़ी केन्द्रों के माध्यम से यहां दर्ज गर्भवती महिलाओं, धात्री माताओं और शाला त्यागी किशोरियों सहित छह माह से तीन साल की उम्र तक के बच्चों को पूरक पोषण प्रदान किया जाता है। जिससे उनकी सेहत में सुधार हो सके। यहां उल्लेखनीय है कि मध्यप्रदेश में 97 हजार 137 आंगनबाड़ी केन्द्र संचालित हैं। अभी टेक होम राशन वितरण व्यवस्था ऑफलाइन है। जिससे अक्सर गड़बड़ियों के मामले प्रकाश में आते हैं। ऑफलाइन व्यवस्था में यह शिकायतें आती हैं कि उनके आंगनबाड़ी केन्द्रों में पोषण आहार का वितरण नहीं किया जाता है। व्यवस्था ऑफलाइन होने से कागजी प्रपत्रों में पोषण आहार वितरण की जानकारी एकत्रित कर विभाग को भेज दी जाती है।

अब यह होगी व्यवस्था

पोषण आहार वितरण में मनमानी पर अंकुश लगाने के लिए टीएचआर सिस्टम को ऑनलाइन की जा रही है। ऐसे पोषण आहार बनाने वाले संयंत्रों जहां यह बनाए जाते हैं वहां डिमांड आर्डर के मुताबिक जैसी ही सप्लाई के लिए टेक होम राशन डिस्पैच होगा। प्लांट के स्टाफ को तुरंत भेजे जा रही टीएचआर की जानकारी को संपर्क एप में दर्ज करना होगा। एप में जिस परियोजना में टीएचआर भेजा जा रहा है उसकी डिमांड ऑर्डर के अनुसार डिस्पैच किए जा रहे पोषण आहार की डिटेल दर्ज करनी होगी। इतना ही नहीं जब यह परियोजना कार्यालय पहुंचेगा तो वहां के परियोजना अधिकारी रिसीव करने के साथ ही एप में उस स्टॉक की एंट्री करेंगे। वहीं आंगनबाड़ी केन्द्रों में डिमांड के मुताबिक परियोजना से पोषण आहार भेजा जाएगा। जिसकी जानकारी भी आंगनबाड़ी केन्द्र पर कार्यकर्ता परियोजना कार्यालय से मिले पोषण आहार की जानकारी एप में दर्ज करेंगी। जिससे टेक होम राशन व्यवस्था मजबूत होने के साथ ही पूरक पोषण आहार में की जाने वाली गड़बड़ियों पर लगाम लग सकेगा।

इनका कहना है

इस संबंध में महिला एवं बाल विकास विभाग के अपर मुख्य सचिव अशोक शाह के मुताबिक व्यवस्था को पूरी तरह से पारदर्शी बनाने पर काम चल रहा है। इसके लिए रियल टाइम मॉनिटरिंग सिस्टम बनाया जा रहा है। इसके लिए संपर्क एपर टीएचआर की एंट्री की जाएगी। जल्द ही यह सिस्टम प्रदेश के समस्त आंगनबाड़ी केन्द्रों में लागू हो जाएगा। जिसमें प्लांट से लेकर हितग्राही को टीएचआर वितरण होने की जानकारी संपर्क एप पर दर्ज की जाएगी।

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