मिशन 2024: ममता बनर्जी के आम चुनाव फॉर्मूले को कांग्रेस ने ठुकराया, चौधरी ने कहा- हमेशा कांग्रेस को नीचा दिखाती रहीं, हम बंगाल में भी लड़ेंगे

मिशन 2024 के लिए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने रोडमैप तैयार कर लिया है. उन्होंने कांग्रेस को उन सीटों में समर्थन देने की बात कही है, जहां वे मजबूत हैं. इस ऑफर को कांग्रेस ने ठुकरा दिया है.;

Update: 2023-05-16 03:22 GMT

मिशन लोकसभा 2024 के लिए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने रोडमैप तैयार कर लिया है. उन्होंने कांग्रेस को उन सीटों में समर्थन देने की बात कही है, जहां वे मजबूत हैं. बदले में कांग्रेस को बंगाल जैसे राज्यों में तृणमूल कांग्रेस (TMC) की मदद करनी होगी. ममता बनर्जी ने यह बात कर्नाटक में कांग्रेस की जीत के बाद कही है. लेकिन कांग्रेस ने बनर्जी के इस ऑफर को सिरे से ठुकरा दिया है, साथ ही टीएमसी पर कई आरोप मढ़ डाले हैं. 

बता दें टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी 2024 में भाजपा को मात देने के लिए आम चुनाव का फॉर्मूला तैयार कर रही हैं, इसके लिए वे सभी विपक्षी दलों से बात करना चाहती हैं. 

सोमवार को पश्चिम बंगाल के राज्य सचिवालय नबन्ना में एक पीसी के दौरान ममता ने कहा, "मैं कोई जादूगर नहीं हूँ, न ही मैं ज्योतिषी हूँ, मैं यह भी नहीं कह सकती कि भविष्य में क्या होने वाला है. लेकिन मैं आपको एक बात कह सकती हूँ, जहां क्षेत्रीय पार्टियां मजबूती में हैं, वहां भाजपा चुनाव नहीं लड़ सकती है और उन जगहों पर भी नहीं जहां लोग निराश हैं. कर्नाटक में डाला गया वोट भाजपा सरकार के खिलाफ एक सख्त जनादेश है."

क्षेत्रीय पार्टियों को मौक़ा देने की पहल 

ममता बनर्जी ने क्षेत्रीय पार्टियों को मौक़ा देने की पहल की है. उन्होंने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था बर्बाद हो चुकी है. लोकतांत्रिक अधिकारों पर बुलडोजर चलाया जा रहा है, यहां तक कि पहलवानों की भी नहीं सुनी जा रही है. ऐसी स्थिति में जिस क्षेत्र में जो मजबूत है उसे मिलकर साथ लड़ना चाहिए. मान लीजिए हम यानि टीएमसी बंगाल में मजबूत हैं तो हम बंगाल में लड़ें, दिल्ली में कांग्रेस को लड़ना चाहिए. बिहार में नितीश और तेजस्वी साथ हैं साथ ही कांग्रेस भी, ये सब तय कर सकते हैं. ऐसे ही दूसरे राज्यों में भी मिलकर काम करने की आवश्यकता है.

कांग्रेस भी दे मजबूत और क्षेत्रीय पार्टियों को समर्थन

टीएमसी प्रमुख ने आगे कहा, जिन सीटों में कांग्रेस मजबूती पर है, वहां वो भाजपा से लड़ने में सक्षम है. इसलिए मजबूत पार्टी को प्राथमिकता देनी चाहिए और कांग्रेस जहां मजबूत है वहां उसे लड़ने दो. लेकिन इसके लिए कांग्रेस को भी दूसरी पार्टियों का समर्थन करना होगा.

200 सीटों पर कांग्रेस मजबूती पर

ममता ने कहा, हमारे कैलकुलेशन के मुताबिक़ कांग्रेस 200 सीटों में मजबूत है. ऐसे में अगर कांग्रेस कुछ अच्छा हासिल करना चाहती है तो उसे कुछ क्षेत्रों में त्याग भी करना होगा. जैसे कि यदि यूपी में अखिलेश को प्राथमिकता देनी है तो बैठकर फैसला करें. मैं यह नहीं कह रही हूँ कि कांग्रेस को वहां चुनाव नहीं लड़ना चाहिए, लेकिन बात तो करनी जरुरी है. 

कांग्रेस ने ममता का ऑफर ठुकराया 

ममता बनर्जी का यह ऑफर कांग्रेस ने 24 घंटे के भीतर ठुकरा दिया. लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष अधीर रंजन चौधरी ने कहा, "ममता बनर्जी अब ऐसी बातें कर रही हैं, लेकिन इससे पहले कभी उन्होंने कांग्रेस का सम्मान किया है? वो हमेशा कांग्रेस को नीचा दिखा रही हैं."

चौधरी ने आगे कहा, "हम बंगाल में भी लड़ेंगे और जहां-जहां जरूरत पड़ेगी, वहां-वहां लड़ेंगे. कर्नाटक के चुनाव से पहले ममता बनर्जी ने कभी कहा है कि भाजपा को हराने के लिए कांग्रेस को वोट दो? आज कांग्रेस की जीत के बाद उनको लगने लगा कि बिना कांग्रेस के उनका आगे बढ़ना मुश्किल है, क्योंकि बंगाल में भी कांग्रेस की पकड़ बढ़ती जा रही है.

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